बिहार के शहरी क्षेत्रों में अब घर बनाना काफी महंगा पड़ने वाला है इसकी अधिसूचचना नगर विकास एवं आवास विभाग के अपर मुख्य सचिव अरुनिश चावला ने दिया है। बिहार के सभी नगर निकाय क्षेत्र में भवन निर्माण के परमिट शुल्क में 10 साल बाद बढ़ोतरी की है। यह बढ़ोतरी 10 से 12 गुणा की गई है। जिसकी अधिसूचना अरुनिश चावला ने जारी कर दी है। यह शुल्क 5 सितम्बर से ही लागू की गई है।
जारी अधिसूचना के मुताबिक पटना महानगर सहित तमाम नगर निकाय क्षेत्रों में लगने वाली परमिशन शुल्क में बढ़ोतरी की गई है। यह शुल्क प्रति वर्ग मीटर निर्माण क्षेत्र के आधार पर निर्धारित की गई है और इसे उपभोक्ता मूल्य सूचकांक से जोड़ दिया गया है। यानी हर वर्ष उपभोक्ता मूल्य सूचकांक में जितनी फ़ीसदी की बढ़ोतरी होगी इसके आधार पर यह शुल्क भी अपने आप बढ़ जाएगा। उपभोक्ता मूल सूचकांक से परमिट शुल्क को जोड़ देने से इसमें हर साल औसतन 10 फ़ीसदी का इजाफा संभावित है। आदेश के मुताबिक 1 जनवरी 2024 से इसमें फिर बढ़ोतरी होगी।
शुल्क को तीन क्षेणियों में रखा गया है
नई दर लागू होने के बाद पटना महानगर क्षेत्र में एक कट्ठा में इमारत पर भी शुल्क को तीन क्षेणियों में रखा गया है दो मंजिला, तीन से पांच और पांच से ज्यादा। दो मंजिला घर बनाने में परमिट शुल्क के तौर पर 12 हजार 600 रुपए देने होंगे, इसी तरह 3 से 5 मंजिला घर के लिए 18,900 और 5 मंजिला से अधिक भवन निर्माण के लिए 25,200 रुपए पटना महानगर प्राधिकार में जमा करना होगा।
वहीं बिहार के किसी नगर पंचाय क्षेत्र में एक कट्ठा जमीन पर घर बनाने की अनुमति बनाने के लिए दो मंजिला घर के लिए 5,040 रुपए, 3 से 5 मंजिला घर बनाने के लिए 7,560 रुपए, पांच मंजिला से अधिक घर के लिए 10,080 रुपए शुल्क जमा करना होगा।