कोलकाता: अश्लील फिल्में, पोर्न विडियो, ड्रग्स, रेप और हत्या लगभग हर वो काली करतूत जो भारत में अपराध की श्रेणी में आते है उसके तार कोलकाता के आरजी मेडिकल कॉलेज से जुड़ते जा रहे हैं। बता दें इस घटना को लेकर पूरे देश में उबाल है। जांच को लेकर कोलकाता पुलिस का रवैया शुरुआत से ही ढीला ढाला रहा इसके बाद सीबीआई को जांच सौंपे जाने के बाद कई ऐसे राज थे जिनसे पर्दा उठना शुरू हुआ। जांच के दौरान अतीत में दफन हुए एक ऐसे कांड से पर्दा उठा जो इस कॉलेज और यहां के प्रशासन की संदीग्धता से सहमत होता दिख रहा था। बात दरअसल 23 साल पुरानी है। इसी मेडिकल कॉलेज के एक छात्र सौमित्र बिस्वास का शव हॉस्टल के उसके कमरे में लटका हुआ मिला था। प्रथम दृष्टया ही यह मामला हत्या का लग रहा था। शुरूआती जांच में भी ये बात सामने आई कि जिस रस्सी से वो लटका था वो इतनी छोटी थी कि उससे जान नहीं दी जा सकती थी वहीं इस हत्या को लेकर सौमित्र के मां बाप ने कोर्ट में बेहद चौंकाने वाली अर्जी दी ।
एक ओर जहा इस हत्या को लेकर अधिकारियों ने दावा किया था कि यह आत्महत्या का मामला है। वही छात्र की मां ने कहा कि ये साजिशन हत्या है। इसके पीछे जो उसने बताया वो पैरों तले जमीन को खिसकाने के जैसा था। 25 अगस्त 2001 को मेडिकल कॉलेज के बगल में स्थित ललित मेमोरियल हॉस्टल के अपने कमरे में छत से लटका हुआ पाया गया था। वहीं सौमित्र की माँ ने आरोप लगाया था कि मेडिकल कॉलेज में उनके बेटे के दोस्त उसकी मौत के लिए जिम्मेदार हैं। ऐसा इसलिए क्योकि क्योंकि उसने कथित तौर पर कालेज परिसर में अश्लील गतिविधियों को देखा था। उल्लेखनीय है कि मेडिकल कॉलेज के कई छात्रों ने सौमित्र बिस्वास की मौत के लिए आरजी कर मेडिकल कॉलेज में कथित पोर्न रिंग को जिम्मेदार ठहराया था। सौमित्र के परिजन इसे आत्महत्या मानने को तैयार नहीं थे। इस मामले में मेडिकल कॉलेज की एक छात्रा औरोमिता दास को गिरफ्तार भी किया गया था। हालांकि कलकत्ता हाई कोर्ट ने उनकी माँग को स्वीकार करते हुए इस मामले की सीआईडी से जाँच कराने का आदेश दे दिया।
परंतु पश्चिम बंगाल पुलिस की सीआईडी को इस मामले में ज्यादा प्रगति नहीं मिल सकी और यह मामला आज भी अनसुलझा है। बता दें उस समय आरजी मेडिकल कॉलेज के छात्रों ने सौमित्र बिस्वास की मौत के लिए परिसर में पोर्नोग्राफी एवं वेश्यावृत्ति नेटवर्क और वहां की छात्राओं के साथ संदिग्ध व्यवहार का आरोप लगाया था। उन्होंने दावा किया था कि सौमित्र की ‘हत्या’की गई थी और इसके मास्टरमाइंड राज्य के डॉक्टरों का गिरोह था। बता दें इसे लेकर छात्रों ने बताया था कि सौमित्र ने कई हॉस्टल के कमरों में अश्लील तस्वीरें और वीडियो शूट करने के घिनौने काम को उजागर करने की कीमत चुकाई थी। बता दें बकौल छात्र उस कालेज में सेक्स रैकेट और पोर्नोग्राफी का धंधा धड़ल्ले से चल रहा था। इस काम को वहां के एक रसूखदार नेता का संरक्षण भी प्राप्त था। इस काम की शूटिंग मुख्य रूप से सप्ताह के अंत में सेक्स वर्करों को हॉस्टल में बुलाकर की जाती थी। मालूम हो कि इस हास्टल से महज 15 मिनट की दूरी पर एशिया का सबसे बड़ा रेड लाईट एरिया सोनगाछी स्थित है । यहीं से वेश्याओ को लाकर पोर्न फिल्म की शूटिंग होती थी। जब कोई सेक्स वर्कर नहीं मिलती थी तो वे पढ़ाई के लिए अस्पताल में लाए गए ताजा शवों का इस्तेमाल करते थे। फिर वे शवों की नग्न तस्वीरों पर मॉडल के चेहरे लगाते थे। उन छात्रों ने बताया था कि यह एक बहुत बड़ा रैकेट है, जिसे एक शक्तिशाली राजनेता का समर्थन मिला था।
मेडिकल कॉलेज परिसर में हो रहें इस गंदे काम की भनक सौमित्र सहित बाकी स्टूडेंट को भी थी पर उन सबने चुप रहने में ही अपनी भलाई समझी। लेकि उसके बाद इस घटना में एक नया मोड़ आता है। होता ये है कि एक बार इन अश्लील विडियोज में सौमित्र की महिला मित्र और स्वयं सौमित्र के चेहरे का इस्तेमाल किया जाता है। और उस विडियो के बाद सौमित्र भड़क जाता है और इस पूरे रैकेट के पर्दाफाश करने की धमकी देता है। इस पूरे वाक्या में सौमित्र की महिला मित्र औरोमिता दास के एकतरफा प्रेमी ने उसके और सौमित्र के चेहरे का इस्तेमाल किया था। इस बात को लेकर विवाद बढ़ जाता है और परिणामत: अपने रूम में सौमित्र की लाश पाई जाती है। इन सबके बाद हुई जांच में कुछ ऐसे सबूत भी मिले जो संदेह के घेरे में थे। जांच के दौरान पुलिस को हास्टल के कमरा नंबर 15 से ट्राइपॉड और रिफ्लेक्टर पाए गए थे।
उस वक्त न तो रील का जमाना था न ही सोशल मीडिया ऐसे में इन चीजों का हास्टल में मिलना इशारा कुछ और ही कर रहा था। छात्रों ने इस हत्या के विरोध में आवाज उठाई परंतु आज भी इसमें कोई प्रगती नहीं हुई। बावजूद इसके इस घटना के 23 साल बाद फिर से उसी कॉलेज में एक लडकी की अर्धनग्न लाश मिलती है जिसे बेहद क्रूरता से मारा गया है। मामला कुछ हद तक साफ है। मृतका के परिजनों का भी कहना है कि मृतका को कालेज की ओर से प्रताड़ित किया जा रहा था। उसके लाश के पास एक गद्दा बिछा था। इसके साथ ही कई सवाल खड़े हो रहे है कि ये घटना क्या सिर्फ रेप व मर्डर तक ही सीमित है। क्या से मामला सिर्फ पोर्नोग्राफी तक है। जितना साफ ये दिख रहा उतने साफ इस मामले की बदबू नही जा रही। इंटरनेट की दुनिया में डार्क वेब जैसी चीजें और अश्लीलतम वेबसाईट को नजर अंदाज करना अन्याय है। बहरहाल पुलिस की जांच चल रही देश भर के डाक्टर आज मोमिता के साथ उसे न्याय दिलाने के लिए एकजुट है।