पटना : जन सुराज पार्टी की सूत्रधार प्रशांत किशोर BPSC छात्रों की मांगों को लेकर 2 जनवरी से लगातार आमरण अनशन पर हैं। इस दौरान उन्हें 6 जनवरी को पुलिस ने उन्हें गिरफ्तार भी किया और शाम तक कोर्ट से जमानत भी मिल गई। 7 जनवरी की सुबह प्रशांत किशोर की तबियत अचानक बिगड़ गई, जिसके बाद उन्हें मेदांता अस्पताल के ICU वार्ड में भर्ती कराया गया।
इस कड़ी में आज यानी की 8 जनवरी को करीब 4 बजे जन सुराज पार्टी का प्रतिनिधिमंडल पार्टी अध्यक्ष मनोज भारती के नेतृत्व में सचिवालय पहुंच कर बिहार के मुख्य सचिव अमृत लाला मीणा से वर्तमान स्थिति पर मुलाकात की। प्रतिनिधिमंडल में MLC अफाक अहमद, पूर्व सांसद सीताराम यादव, पूर्व विधायक किशोर कुमार, सेवानिवृत अधिकारी अरविंद ठाकुर, ललन यादव, एन.के मंडल शामिल थे।
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इन नेताओं ने मुख्य सचिव को पांच सूत्री मांगों को लेकर ज्ञापन सौंपा –
- 70वीं BPSC परीक्षा में हुई अनियमितता और भ्रष्टाचार की उच्चस्तरीय जांच कराई जाए और पुनः परीक्षा कराई जाए।
- 2015 में 7 निश्चय के तहत किए गए वादे के अनुसार 18 से 35 साल तक के हर बेरोजगार युवा को बेरोजगारी भत्ता दिया जाए।
- पिछले 10 वर्षों में प्रतियोगी परीक्षाओं में हुई अनियमितता और पेपर लीक की जांच एवं दोषियों पर की गई कार्रवाई पर श्वेत पत्र जारी किया जाए।
- लोकतंत्र की जननी बिहार को लाठितंत्र बनाने वाले दोषी अधिकारियों पर कार्रवाई की जाए।
- बिहार की सरकारी नौकरियों में बिहार के युवाओं को कम से कम दो तिहाई हिस्सेदारी सुनिश्चित करने के लिए डोमिसाइल नीति लागू की जाए।
आरोपों पर हम जवाब देंगे
इसके बाद मनोज भारती ने मीडिया से बातचीत की और बताया हमने अपने ज्ञापन में बताया है कि हमने सचिव से कहा है कि जल्दी से जल्दी छात्रों की मांगों पर विचार किया जाए और एक शिष्ट मंडल को मुख्यमंत्री से मिलवाने की कोशिश की जाए इसके बाद ही प्रशांत किशोर अनशन पर विचार करेंगे। मनोज भारती ने राजनीतिक आरोपों पर जवाब देते हुए कहा कि आरोप– प्रत्यारोप के बदले जरा वो छात्रों की मांगों लेकर जिस तरह का सत्याग्रह किया जा रहा वहां सत्याग्रह कर के दिखाए फिर उनके आरोपों पर हम जवाब देंगे।