नई दिल्ली : ईरान और इजरायल के बीच जारी तनाव के बीच तेहरान में आयतुल्ला अली खामेनेई के खिलाफ बढ़ती बगावत की खबरें सामने आ रही हैं। साथ ही, अमेरिका द्वारा इस संघर्ष में बड़े पैमाने पर तैयारी करने की बात भी उभरकर सामने आई है।
हालिया रिपोर्ट्स के अनुसार, तेहरान की दीवारों पर “खामेनेई मुर्दाबाद” जैसे नारे लिखे गए हैं, जो देश के सबसे शक्तिशाली नेता के खिलाफ एक असाधारण चुनौती के रूप में देखे जा रहे हैं। हालांकि, न्यूयॉर्क टाइम्स की रिपोर्ट के मुताबिक, यह खामेनेई की वास्तविक शक्ति को कमजोर नहीं करता, लेकिन उनकी छवि को प्रभावित जरूर करता है। ईरानी सरकार के भीतर और बाहर से आने वाली इन खबरों ने क्षेत्रीय अस्थिरता को और बढ़ा दिया है।
दूसरी ओर, अमेरिका ईरान युद्ध के लिए बड़े पैमाने पर तैयारी कर रहा है। खबरों के मुताबिक, अमेरिका ने इजरायल को और अधिक हथियार मुहैया कराए हैं, जिसमें उन हथियारों का भी समावेश है जो ईरान के खिलाफ प्रभावी साबित हो सकते हैं। विशेषज्ञों का मानना है कि अमेरिका ईरान के गुप्त ठिकानों पर हमले के लिए लंबी दूरी की बी-2 स्टील्थ बमवर्षक विमानों का इस्तेमाल कर सकता है, जो 200 फीट तक भूमिगत लक्ष्यों को नष्ट करने में सक्षम हैं
उधर, ईरान ने इजरायल और अमेरिका को निशाना बनाने की अपनी रणनीति को स्पष्ट किया है, लेकिन अमेरिकी खुफिया एजेंसियों के मुताबिक, ईरान का उद्देश्य पूर्ण पैमाने पर युद्ध से बचना है। इसके बावजूद, क्षेत्र में तनाव बढ़ रहा है, और ईरान समर्थित समूहों के माध्यम से इजरायल और अन्य पश्चिमी हितों पर हमले जारी हैं।
राजनीतिक विश्लेषकों का मानना है कि यह संघर्ष केवल ईरान और इजरायल तक सीमित नहीं है, बल्कि क्षेत्रीय और वैश्विक स्तर पर इसके व्यापक प्रभाव हो सकते हैं। अमेरिका और इजरायल के बीच मजबूत सैन्य और खुफिया सहयोग इस तनाव को और गहरा सकता है।