बिहार सरकार के राजस्व एवं भूमि सुधार विभाग में मंत्री संजय सरावगी की सख्त कार्रवाई ने प्रशासनिक हलकों में तहलका मचा दिया है। मई महीने में हुई प्रमंडलीय समीक्षा बैठकों में बिना सूचना दिए 52 अधिकारियों की अनुपस्थिति पर विभाग ने “कारण बताओ” नोटिस जारी किया है। इनमें 5 अपर समाहर्ता, 15 उप समाहर्ता (DC LR) और 32 अंचलाधिकारी (CO) शामिल हैं।
मंत्री का सख्त बयान: “अनुशासनहीनता बर्दाश्त नहीं”
मंत्री संजय सरावगी ने इस मामले पर स्पष्ट रुख अपनाते हुए कहा कि “बिना सूचना के बैठक में अनुपस्थित रहना न केवल प्रशासनिक लापरवाही है, बल्कि यह सरकारी कामकाज में बाधा डालता है।” उन्होंने चेतावनी दी कि यदि जवाब संतोषजनक नहीं हुआ, तो प्रशासनिक कार्रवाई की जाएगी।
किन जिलों के अधिकारी घेरे में?
इस कार्रवाई में शामिल अधिकारी बिहार के प्रमुख जिलों से हैं, जिनमें शामिल हैं:
- नालंदा, बक्सर, पूर्वी चंपारण
- अररिया, कटिहार, मुजफ्फरपुर
- दरभंगा, बेगूसराय, भोजपुर
- गया, सारण, गोपालगंज
इसके अलावा, बिहारशरीफ, राजगीर, पूर्णिया, औरंगाबाद और मधेपुरा जैसे संवेदनशील क्षेत्रों के अधिकारी भी नोटिस की जद में हैं।
बैठक में अनुपस्थिति से क्यों बिफरे मंत्री?
मंत्री सरावगी ने 7 और 8 मई को दो चरणों में विभागीय समीक्षा बैठकें बुलाई थीं, जिनमें जमीन सुधार, राजस्व संग्रह और भूमि विवाद निपटान जैसे अहम मुद्दों पर चर्चा होनी थी। लेकिन इन बैठकों में 52 अधिकारियों की गैर-मौजूदगी से कार्य प्रभावित हुआ।