पटना के एक आवासीय इलाके में चल रहे बड़े सेक्स रैकेट का पुलिस ने भंडाफोड़ किया है। शास्त्री नगर पुलिस ने पटेल नगर रोड स्थित एक किराए के फ्लैट पर गुरुवार शाम को छापेमारी कर इस अवैध धंधे को उजागर किया। पुलिस ने रैकेट चलाने वाले दो आरोपियों को गिरफ्तार किया और तीन महिलाओं को मुक्त कराया, जिन्हें नौकरी के झांसे में इस धंधे में धकेला गया था।
फ्लैट में चलता था यह अवैध धंधा
पुलिस जांच में खुलासा हुआ है कि यह सेक्स रैकेट अत्यंत संगठित तरीके से संचालित हो रहा था। आरोपी राज कुमार शर्मा और मंजू देवी हर महीने नई लड़कियों को लाकर इस फ्लैट में रखते थे। इन लड़कियों की तस्वीरें संभावित ग्राहकों को व्हाट्सएप पर भेजी जाती थीं। ग्राहकों से 2,000 से 5,000 रुपये तक की रकम वसूली जाती थी, जिसका भुगतान ऑनलाइन मोड से किया जाता था।
सचिवालय डीएसपी साकेत कुमार ने बताया कि मौके से कंडोम के पैकेट और पेमेंट स्कैनर जब्त किए गए हैं। पुलिस अब आरोपी के बैंक खातों को फ्रीज करवाने की प्रक्रिया में जुट गई है। जांच में यह भी पता चला है कि कुछ हाईप्रोफाइल लोग भी इस अड्डे का नियमित रूप से इस्तेमाल करते थे।
पश्चिम बंगाल से लाई जाती थीं लड़कियां
मुक्त कराई गई तीन महिलाओं में से एक पश्चिम बंगाल की निवासी है। पुलिस को संदेह है कि आरोपियों का पश्चिम बंगाल के कुछ तस्करी गिरोहों से संपर्क था। महिलाओं ने पुलिस को बताया कि उन्हें अच्छी नौकरी के झांसे में इस धंधे में फंसाया गया था। एक बार फंसने के बाद उन्हें धमकियों के बल पर इस अवैध कारोबार में रखा गया।
शास्त्री नगर पुलिस ने इस मामले में आईटी एक्ट सहित विभिन्न धाराओं में मामला दर्ज किया है। पुलिस अधिकारियों के अनुसार, यह केवल एक फ्लैट तक सीमित नहीं है, बल्कि पूरे शहर में ऐसे और भी अड्डे हो सकते हैं। पुलिस ने इस तरह के सभी संदिग्ध स्थानों पर निगरानी बढ़ा दी है।
महिला सुरक्षा इकाई की टीम भी मुक्त कराई गई महिलाओं से पूछताछ कर रही है ताकि इस नेटवर्क के अन्य सदस्यों और ग्राहकों के बारे में जानकारी हासिल की जा सके। पुलिस का मानना है कि यह केस राज्य में मानव तस्करी और वेश्यावृत्ति के संगठित नेटवर्क की बड़ी कड़ी साबित हो सकता है।