होली बाद समाजवादी नेता शरद यादव राजद के साथ होंगे। वह अपनी पार्टी लोकतांत्रिक जनता दल का राजद में विलय करेंगे। इसकी घोषणा शरद ने की है। उन्होंने कहा कि 20 मार्च को उनकी पार्टी का आरजेडी में विलय हो जाएगा।
नीतीश से अलग होकर प्रभाव नहीं दिखा सकी लोकतांत्रिक जनता दल
नीतीश कुमार से अलग होने के बाद शरद यादव की लोकतांत्रिक जनता दल अपना प्रभाव नहीं दिखा सकी। ऐसे में शरद राजद को मजबूत बनाने के लिए अपनी पार्टी का विलय कर रहे हैं। हालांकि इस विलय को शरद और लालू के राजनीतिक कॅरियर के विराम के रूप में आंका जा रहा है। शरद ने कहा है कि जनतांत्रिक जनता पार्टी की विलय जनता परिवार के साथ लाने की उनकी कोशिश का नतीजा है। आज देश के राजनीतिक हालात को देखकर ऐसा करना जरूरी हो गया था। शरद ने कहा कि बीजेपी सरकार पूरी तरह से फेल है। देश की जनता एक मजबूत विपक्ष तलाश रही है। शरद ने यह भी बताया कि 1989 में सिर्फ जनता दल के 143 सांसद थे। फिर धीरे-धीरे पार्टी सामाजिक न्याय के मुद्दों को भूलती गई। अब उसे फिर जिंदा किया जाए।