[Team Insider]: उत्तर प्रदेश का चुनाव और डॉन दोनों पूरक हैं। खासतौर पर पूर्वांचल की सियासत डॉन ही तय करते हैं। आजकल भावी प्रत्याशी और वर्तमान विधायक मंदिर-मस्जिद जा रहे हैं। मगर, भगवान का आशीर्वाद लेने से पहले नेता एक और दरबार पर माथा टेकते हैं। यह दरबार है एक ऐसे डॉन का, जिनसे कभी अंडरवर्ल्ड का बादशाह दाउद अब्राहम भी ट्रेनिंग लेने आया था। उत्तर प्रदेश का सबसे बड़ा डॉन सुभाष ठाकुर। अब इन्हें लोग बाबा कहते हैं। कारण जेल में सजा काट रहे सुभाष ने बाबा का लुक बना लिया है। लंबी-लंबी दाढ़ी और बाल। जेल में हर दिन जनता दरबार लगाते हैं। उत्तर प्रदेश से मुंबई तक की सियासत और अपराध जेल से संचालित होते हैं। ऐसा दबदबा की यूपी का बाहुबली नेता मुख्तार अंसारी और अतीक अहमद भी इनसे दूर रहता है।
पूर्वांचल की सभी सीटों पर बाबा की पैठ
स्थानीय लोगों और पूरे उत्तर प्रदेश में यह बात आम है कि पूर्वांचल की सीटों पर सुभाष ठाकुर उर्फ बाबा की पैठ है। चुनाव के एक साल पहले से नेताओं का इनसे संपर्क साधना शुरू हो जाता है। कारण है सभी पार्टियों में इनकी मजबूत पकड़। इस चुनाव में टिकट मिले या नहीं बाबा से आशीर्वाद लेने सभी दलों के नेता पहुंच रहे हैं। राजनीतिक जानकारों का मानना है कि सुभाष ठाकुर के संपर्क में समाजवादी पार्टी के नेता ज्यादा हैं। इनमें कई बालू माफिया तो कुछ किडनैपिंग, वसूली की जगत के बड़े नाम हैं। कुछ बड़े उद्योगपति भी हैं।
मुंबई से शुरू किया अपराध, अब दाउद से भी दुश्मनी
फतेहगढ़ सेंट्रल जेल में बंद सुभाष ठाकुर ने मुंबई से अपराध की दुनिया में कदम रखा था। तब दाउद अब्राहम छोटे-मोटी चोरियां किया करता था। जबकि सुभाष वहां का बड़ा डॉन बन चुका था। बड़े-बड़े उद्योगपति और बिल्डर इससे कांपते थे। कई हत्या, बड़ी हस्तियां का अपहरण करने के बाद भी पुलिस की पकड़ से दूर रहता था। फिर दाउद ने इनसे ट्रेनिंग ली और अंडरवर्ल्ड का डॉन बन गया। इसके बाद भी दोनों साथ काम कर रहे थे। मगर, 1992 के ब्लास्ट के बाद सुभाष ठाकुर छोटा राजन के साथ चला गया। तब से दाउद से सुभाष उर्फ बाबा की दुश्मनी चल रही है।