नए संसद भवन का उद्घाटन 28 मई को पीएम नरेंद्र मोदी करेंगे। भाजपा सरकार सेंट्रल विस्टा प्रोजेक्ट को लेकर शुरू से ही उत्साहित रही है। जबकि विपक्ष इस पर कई बार सवाल उठा सका है। अब जब सेंट्रल विस्टा प्रोजेक्ट पूरा हो गया है तो इसके उद्घाटन का इंतजार है। यह नई बिल्डिंग 64.5 हजार स्क्वायर मीटर में बनी है। यह चार मंजिला भवन पिछले संसद भवन से बड़ा है। इसके तीन दरवाजों को ज्ञान द्वार, शक्ति द्वार और कर्म द्वार नाम दिया गया है। वैसे इसके उद्घाटन के दिन का चयन भी खास है क्योंकि इस दिन वीर सावरकर की जयंती है।
लोकसभा अध्यक्ष से पीएम की मुलाकात
संसद भवन के उद्घाटन के मद्देनजर ही लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला ने गुरुवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मुलाकात की। नई बिल्डिंग की सबसे बड़ी विशेषता संविधान हॉल है, जिसमें संविधान की कॉपी रखी जाएगी। पुराने भवन और नए भवन में कई अंतर है। पुराने भवन के लोकसभा में 590 लोगों के बैठने की क्षमता थी तो नई लोकसभा में 888 सीटें हैं। राज्यसभा में अभी 280 सीटें हैं। नए भवन में 384 होंगी। ज्वाइंट सेशन हुआ तो 1272 सांसद एक साथ बैठ सकेंगे जो मौजूदा सांसदों की संख्या से कहीं अधिक है।
छह माह देरी से पूरा हुआ प्रोजेक्ट
नए संसद को लेकर पीएम नरेंद्र मोदी ने कई बार उत्साहित बयान दिए हैं। उनके अनुसार संसद की नई बिल्डिंग से अधिक सुंदर कुछ भी नहीं है। वैसे इस प्रोजेक्ट को पूरा होने में निर्धारित समय से छह माह अधिक का वक्त लगा है। भवन का निर्माण 15 जनवरी 2021 को शुरू हुआ था और इसे नवंबर 2022 में पूरा हो जाना था। पीएम नरेंद्र मोदी ने 10 दिसंबर 2020 को नए संसद भवन की आधारशिला रखी थी। गौरतलब है कि भारत में नया संसद भवन 96 साल बाद बना है। मौजूदा संसद भवन 1927 में बनाया गया था।