Bihar @ 2047 Vision: बिहार के भविष्य को लेकर अक्सर सवाल उठते रहे हैं, लेकिन बेंगलुरू की धरती से इस बार जवाब उम्मीद, नवाचार और उद्यमिता के रूप में सामने आया। ‘Lets Inspire Bihar’ अभियान के तहत बेंगलुरू स्थित ऑक्सफोर्ड कॉलेज सभागार में आयोजित ‘बिहार @ 2047 विजन कॉन्क्लेव (सीजन–3 : स्टार्ट-अप कॉन्क्लेव)’ ने यह साबित कर दिया कि बिहार की विकास यात्रा अब सिर्फ चर्चा नहीं, बल्कि ठोस रोडमैप और सामूहिक भागीदारी की ओर बढ़ चुकी है। 1200 से अधिक प्रतिभागियों की मौजूदगी ने इस आयोजन को ऐतिहासिक बना दिया।
कॉन्क्लेव का उद्घाटन बिहार सरकार के उद्योग मंत्री डॉ. दिलीप जायसवाल ने किया। उन्होंने अपने संबोधन में कहा कि बिहार अब निवेश और स्टार्ट-अप के लिए तैयार है और राज्य सरकार नवाचार आधारित उद्योगों को बढ़ावा देने के लिए नीतिगत स्तर पर लगातार काम कर रही है। डॉ. जायसवाल ने एंजल निवेशकों, स्टार्ट-अप फाउंडर्स, युवा उद्यमियों, महिलाओं और कॉर्पोरेट पेशेवरों से संवाद करते हुए यह स्पष्ट किया कि बिहार का औद्योगिक भविष्य स्थानीय प्रतिभा और वैश्विक निवेश के संतुलन से तय होगा।
कार्यक्रम की आत्मा बने ‘Lets Inspire Bihar’ अभियान के संस्थापक और चर्चित आईपीएस अधिकारी विकास वैभव ने अपने प्रेरक संबोधन में इसे एक आंदोलन का रूप बताया। उन्होंने कहा कि यह पहल अब किसी एक मंच तक सीमित नहीं रही, बल्कि देश और दुनिया में बसे बिहारियों को जोड़ने वाली सबसे बड़ी सामूहिक चेतना बन चुकी है। उनके शब्दों में, बिहार की असली ताकत उसकी मानव पूंजी है और जब बिहारी अपनी पहचान से ऊपर उठकर राज्य के विकास के लिए एकजुट होते हैं, तभी बिहार नई ऊंचाइयों को छूता है। उन्होंने यह भी रेखांकित किया कि स्टार्ट-अप और उद्यमिता के जरिए हर पंचायत तक आर्थिक अवसर पहुंचाना ही ‘बिहार @ 2047 विजन’ की मूल भावना है।
कॉन्क्लेव में बिहार से विशेष रूप से पहुंचे बैकुंठपुर के विधायक मिथिलेश कुमार तिवारी, डेहरी के विधायक राजीव रंजन सिंह उर्फ सोनू सिंह और बिहार भाजपा प्रदेश कार्य समिति के सदस्य सोनू शर्मा की उपस्थिति ने कार्यक्रम को राजनीतिक और नीतिगत मजबूती प्रदान की। उनके विचारों से युवा उद्यमियों और निवेशकों में यह भरोसा दिखा कि नीति और नेतृत्व, दोनों स्तरों पर बिहार में स्टार्ट-अप इकोसिस्टम को लेकर गंभीरता है।
इस भव्य आयोजन की सफलता के पीछे मुख्य आयोजक प्रियंका झा और Lets Inspire Bihar बेंगलुरू अध्याय की कोर टीम की मेहनत साफ नजर आई। सभागार की क्षमता से अधिक, देश–विदेश से आए 1200 से ज्यादा प्रतिभागियों ने यह संदेश दिया कि बिहार का भविष्य अब वैश्विक मंच पर चर्चा का विषय बन चुका है।
कार्यक्रम के दौरान ‘बिहार @ 2047 विजन डॉक्यूमेंट’ का विमोचन किया गया, जिसमें विकसित बिहार के निर्माण का विस्तृत और व्यावहारिक रोडमैप प्रस्तुत किया गया। आयोजकों के अनुसार, इस अभियान से अब तक तीन लाख से अधिक राष्ट्रीय और अंतर्राष्ट्रीय सदस्य सीधे तौर पर जुड़ चुके हैं, जो इसे दुनिया का सबसे बड़ा बिहारी नेटवर्किंग मूवमेंट बनाता है।
आने वाले समय में यह अभियान और व्यापक रूप लेने जा रहा है। 18 जनवरी 2026 को हैदराबाद के टी-हब और 22 फरवरी 2026 को दिल्ली के तालकटोरा स्टेडियम में प्रस्तावित ‘बिहार डेवलपमेंट समिट 2026’ के जरिए बिहार के विकास मॉडल को राष्ट्रीय और अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर प्रस्तुत किया जाएगा। कॉन्क्लेव का समापन इसी संकल्प के साथ हुआ कि स्टार्ट-अप्स, नवाचार और उद्यमिता के दम पर बिहार को देश के अग्रणी राज्यों की पंक्ति में लाया जाएगा। यह जानकारी अभियान के राष्ट्रीय मीडिया कोऑर्डिनेटर अनूप नारायण सिंह ने पटना से जारी प्रेस विज्ञप्ति में दी।






















