बिहार अब जल्द ही वैश्विक मानचित्र पर हवाई कनेक्टिविटी के लिहाज़ से नई पहचान बनाने जा रहा है। नीतीश कुमार की सरकार ने राज्य से सीधी इंटरनेशनल फ्लाइट सेवा शुरू करने की घोषणा कर दी है। इसके तहत पांच नए अंतरराष्ट्रीय रूट्स पर विमान उड़ान भरेंगे, जिससे बिहार से विदेशों की दूरी काफी कम हो जाएगी। यह पहल न केवल यात्रियों के लिए राहत लेकर आएगी बल्कि व्यापार, टूरिज्म और निवेश की संभावनाओं को भी नई ऊंचाइयों तक ले जाएगी।
सरकार ने स्पष्ट किया है कि नई अंतरराष्ट्रीय उड़ानों को प्रोत्साहित करने के लिए Viability Gap Funding (VGF) की व्यवस्था की गई है। अपर मुख्य सचिव मंत्रिमंडल सचिवालय, एस. सिद्धार्थ के अनुसार, उद्देश्य बिहार को चारों दिशाओं में सीधे इंटरनेशनल एयरलाइंस नेटवर्क से जोड़ना है। इसके तहत उत्तर में नेपाल, दक्षिण में कोलंबो, पूर्व में सिंगापुर और पश्चिम में शारजाह से सीधी हवाई सेवाएं शुरू होंगी।
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सिद्धार्थ ने बताया कि सरकार ने एयरलाइंस कंपनियों को बोली लगाने के लिए आमंत्रण भेजा है और पूरी प्रक्रिया निविदा प्रणाली से पूरी की जाएगी। नई नीति के मुताबिक केवल उन्हीं एयरलाइंस को VGF का लाभ मिलेगा जिनके विमान की सीटिंग कैपेसिटी कम से कम 150 होगी। यानी छोटे प्लेनों को इसमें शामिल नहीं किया गया है।
किन रूट पर कितनी मिलेगी वीजीएफ की फंडिंग
- पटना-काठमांडू : 5 लाख रुपये प्रति राउंड ट्रिप
- गया-शारजाह : 10 लाख रुपये प्रति राउंड ट्रिप
- गया-बैंकॉक : 10 लाख रुपये प्रति राउंड ट्रिप
- गया-कोलंबो : 10 लाख रुपये प्रति राउंड ट्रिप
- गया-सिंगापुर : 10 लाख रुपये प्रति राउंड ट्रिप
विशेषज्ञों का मानना है कि पटना का जयप्रकाश नारायण अंतर्राष्ट्रीय हवाई अड्डा और गया अंतर्राष्ट्रीय हवाई अड्डा भौगोलिक दृष्टि से रणनीतिक महत्व रखते हैं। इन दोनों एयरपोर्ट्स की लोकेशन बिहार को दक्षिण एशिया के लिए व्यापार और यात्रा का प्रमुख केंद्र बना सकती है। नई उड़ानें शुरू होने से न केवल बिहार से अंतरराष्ट्रीय यात्राएं आसान होंगी बल्कि राज्य की अर्थव्यवस्था को भी मजबूत प्रोत्साहन मिलेगा।




















