बिहार में वोटर लिस्ट के गहन पुनरीक्षण को लेकर सियासी घमासान तेज हो गया है। इस बीच दरभंगा से एक वीडियो वायरल हो गया, जिसमें कथित तौर पर भारतीय जनता पार्टी की महिला जिलाध्यक्ष को बूथ लेवल ऑफिसर (BLO) के साथ बैठकर मतदाता पुनरीक्षण का कार्य करते हुए दिखाया जा रहा है। इस वीडियो को नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव और कांग्रेस ने सोशल मीडिया पर साझा कर चुनाव प्रक्रिया की निष्पक्षता पर सवाल खड़े किए हैं।
क्या है वीडियो की सच्चाई?
हालांकि अब इस वायरल वीडियो को लेकर चुनाव आयोग ने सफाई दी है और लगाए गए आरोपों को सिरे से खारिज कर दिया है। चुनाव आयोग ने बुधवार को बयान जारी कर कहा कि वीडियो की जांच दरभंगा जिला प्रशासन द्वारा की गई। जांच में सामने आया कि वीडियो में दिखाई दे रही महिला का नाम कविता कुमारी उर्फ सपना भारती है, जो भाजपा की महिला जिलाध्यक्ष हैं और जोरावन सिंह (उत्तरी भाग) के मतदान केंद्र संख्या 156 की रजिस्टर्ड मतदाता भी हैं।
बीएलओ सुधा कुमारी ने बताया कि कविता कुमारी अपने और अपने परिवार के दस्तावेज तथा गणना फॉर्म लेकर मतदान केंद्र पहुंची थीं और वहीं बैठकर उसे भर रही थीं। इसी दौरान डॉ. जमाल हसन नामक एक स्थानीय राजनीतिक कार्यकर्ता ने वीडियो बनाकर वायरल कर दिया और आरोप लगाया कि जिलाध्यक्ष मतदाता सूची में गड़बड़ी कर रही हैं।
आयोग का स्पष्टीकरण
चुनाव आयोग ने बताया कि यह वीडियो 15 जुलाई का है और जांच में यह भी पाया गया कि कविता कुमारी और डॉ. जमाल हसन के बीच पहले से राजनीतिक मतभेद रहे हैं। आयोग के अनुसार, “यह वीडियो दुर्भावनापूर्ण मकसद से वायरल किया गया है। बीएलओ ने भी स्पष्ट किया है कि मतदाता पुनरीक्षण प्रक्रिया में किसी तरह की धांधली या लापरवाही नहीं हुई है।” इस मामले को लेकर विपक्ष खासा हमलावर है। तेजस्वी यादव ने वीडियो शेयर कर कहा कि भाजपा चुनाव प्रक्रिया को प्रभावित करने की कोशिश कर रही है, जबकि कांग्रेस ने भी इसे लोकतंत्र के लिए चिंताजनक बताया है।