[Team insider] चतरा में राजकीय इटखोरी महोत्सव को लेकर जिला प्रशासन ने बड़ा निर्णय लिया है। राज्य सरकार द्वारा निर्धारित 19 से 21 फरवरी तक आयोजित होने वाले महोत्सव के आयोजन पर जिला प्रशासन ने अपनी सहमति प्रदान कर दी है। सिमरिया विधायक किसुन दास और एसडीओ सह सचिव मंदिर प्रबंधन समिति मुमताज अंसारी के संयुक्त नेतृत्व में आयोजित मंदिर प्रबंधन समिति के बैठक में सांकेतिक रूप से महोत्सव आयोजित करने का निर्णय लिया गया है।
स्थानीय लोगों में भी उत्साह का माहौल
जिला प्रशासन के आयोजन को लेकर सहमति के बाद जहां प्रबंधन समिति ने राहत की सांस ली है वहीं विगत दो वर्षों से कोरोना का मार झेल रहे स्थानीय लोगों में भी उत्साह का माहौल है। हालांकि कोरोना गाइडलाइन के कारण राजकीय इटखोरी महोत्सव का आयोजन सांकेतिक रूप से ही होगा। सिमरिया विधायक किसुन कुमार दास ने बताया कि कोरोना गाइडलाइन के कारण राजकीय ईटखोरी महोत्सव सांकेतिक रूप से ही मनाया जाएगा। चूंकि महोत्सव का आयोजन भव्य रूप से नहीं होना है ऐसे में स्थानीय कलाकारों को ही आमंत्रित किया जाएगा।
2015 से मनाया जा रहा है इटखोरी महोत्सव
वहीं एसडीओ मुमताज अंसारी ने बताया कि वर्ष 2015 से ही इटखोरी महोत्सव मनाया जा रहा है। लेकिन करोना गाइडलाइन के कारण महोत्सव का आयोजन संकेतिक होगा और गाइडलाइन का पूरी तरह से पालन किया जाएगा। बैठक में निर्णय के बाद इटखोरी महोत्सव की तैयारियों को आयोजन समिति ने शुरू कर दिया है।
स्थानीय कलाकार कार्यक्रमों की देंगे प्रस्तुति
मंदिर का रंगरोगन के अलावे साज-सज्जा के साथ-साथ आकर्षक तरीके से विद्युत सज्जा कराने को ले काम शुरू करने के निर्देश दे दिये गए हैं। ताकि विधि-विधान से महोत्सव के अनुरूप पूजा-पाठ सम्पन्न कराया जा सके। इसके अलावे मंदिर परिसर में ही सांस्कृतिक मंच बनाने का निर्णय लिया गया। जिसमें स्थानीय कलाकार कार्यक्रमों की प्रस्तुति देंगे। मंदिर के आसपास की साफ-सफाई भी किया जा रहा है। हालांकि लोगों सांकेतिक आयोजन को ले थोड़ी मायूसी जरूर है, फिर भी राजकीय इटखोरी महोत्सव का क्रम न टूटे इसको लेकर खुशी भी है।