बिहार में इंटरमीडिएट (12वीं) बोर्ड की परीक्षा आज 1 फरवरी यानी शनिवार से शुरू हो गई। लेकिन परीक्षा केंद्रों तक समय से नहीं पहुंच पाने की वजह से कई छात्र-छात्राएं परीक्षा से वंचित हो गए। राजधानी पटना के विभिन्न केंद्रों पर इस दृश्य को देखा गया, जहां गेट बंद होने के बाद बड़ी संख्या में छात्र-छात्राएं निराश होकर बाहर खड़े रहे। उन्होंने परीक्षा केंद्र के कर्मचारियों से प्रवेश की गुहार लगाई, लेकिन उनकी एक नहीं सुनी गई।
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पटना के गर्दनीबाग हाई स्कूल में छात्र-छात्राएं 9:00 के बाद पहुंची और गेट बंद हो गया। उसके बाद यह लोग नहीं रोने लगी। उसके बाद अधिकारी पहुंचे उन्हें समझने लगे, फिर पूरे मामले की जानकारी उच्च अधिकारी को दी गई और बताया गया कि नियम यही है कि 9:00 के बाद किसी को भी प्रवेश नहीं मिलेगा। छात्राएं लगातार गुहार लगती रही लेकिन इसका कोई फायदा नहीं हुआ।

पटना के बांकीपुर स्थित गर्ल्स हाई स्कूल के बाहर भी कुछ इसी तरह का दृश्य दिखा, जहां छात्राएं इंटर परीक्षा से वंचित होने के बाद फूट-फूट कर रो रही थीं। इसके साथ ही मीठापुर के दयानंद कन्या विद्यालय पर भी कुछ परीक्षार्थी परीक्षा में शामिल नहीं हो सके। वे किसी भी तरह से अंदर जाने की कोशिश करते रहे, लेकिन असफल रहे। इस विडंबना को देखकर छात्रों की आंखों में आंसू थे।
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जानकारी हो कि इंटर परीक्षा की पहली पाली सुबह 9:30 बजे से 12:45 बजे तक होने वाली थी। इस परीक्षा में बैठने के लिए छात्रों को 9:00 बजे तक परीक्षा केंद्र पहुंचना अनिवार्य था। ऐसे में घड़ी में 9:00 बजते ही सभी परीक्षा केंद्रों के मुख्य द्वार बंद कर दिए गए। इसे लेकर अधिकांश परीक्षार्थी समय से पहले ही केंद्र पर पहुंच चुके थे, लेकिन कुछ छात्र-छात्राएं देर से पहुंचे। इस कारण उन्हें गेट बंद होने के बाद प्रवेश नहीं मिला।