बिहार विधानसभा चुनाव से पहले कांग्रेस पार्टी पूरी तरह एक्शन मोड में आ गई है। ‘नौकरी दो, पलायन रोको’ यात्रा के बाद अब पार्टी ‘न्याय संवाद यात्रा’ शुरू करने जा रही है। इस नई यात्रा की शुरुआत 15 मई को लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी दरभंगा से करेंगे, जहां वह छात्राओं को संबोधित करते हुए अभियान का शुभारंभ करेंगे।
60 जगहों पर एक साथ संवाद
कांग्रेस के वरिष्ठ युवा नेता कन्हैया कुमार ने मंगलवार को प्रेस कॉन्फ्रेंस कर यात्रा की विस्तृत जानकारी दी। उन्होंने बताया कि जब राहुल गांधी दरभंगा में संवाद कर रहे होंगे, उसी समय राज्य भर के 60 से अधिक स्थानों पर कांग्रेस के नेता और कार्यकर्ता समानांतर संवाद करेंगे। यह संवाद मुख्य रूप से युवाओं, किसानों और मजदूरों के मुद्दों पर केंद्रित होगा।
यात्रा के पांच मुख्य मुद्दे
कन्हैया कुमार ने बताया कि ‘न्याय संवाद यात्रा’ में पांच प्रमुख बिंदुओं पर फोकस किया जाएगा:
- सभी के लिए समान और मुफ्त शिक्षा
- बेरोजगारी का समाधान
- निजी क्षेत्र में आरक्षण की व्यवस्था
- किसानों को उनके फसल का पूरा लाभ
- हर योग्य युवा को नौकरी की गारंटी
निजी क्षेत्र में आरक्षण और जातीय जनगणना की मांग
कन्हैया ने कहा कि संविधान के अनुच्छेद 155 के अनुसार निजी क्षेत्र में आरक्षण का प्रावधान संभव है और कांग्रेस इसे लागू करने की मांग करेगी। इसके साथ ही उन्होंने केंद्र सरकार से वैज्ञानिक तरीके से जातीय जनगणना कराने की मांग की। उन्होंने कहा कि तेलंगाना मॉडल को अपनाकर पारदर्शिता और समावेशिता के साथ जाति आधारित आंकड़े जुटाए जा सकते हैं, जिससे हर वर्ग को उचित प्रतिनिधित्व मिल सके।
शिक्षा, रोजगार और भ्रष्टाचार पर सरकार को घेरा
बिहार सरकार की नीतियों पर सवाल उठाते हुए कन्हैया कुमार ने कहा कि जब सरकार केजी से पीजी तक मुफ्त शिक्षा देने का दावा करती है, तो अलग-अलग कॉलेजों में अलग-अलग फीस क्यों वसूली जाती है? उन्होंने पेपर लीक की घटनाओं, खाली पड़े चार लाख से अधिक सरकारी पदों और बेरोजगारी को लेकर सरकार पर तीखा हमला बोला। कन्हैया ने आरोप लगाया कि बिहार में भ्रष्टाचार चरम पर है—”जहां नदी नहीं है, वहां भी पुल बना दिया जा रहा है।” उन्होंने कहा कि बिहार का रोजगार, नौकरी और विकास गुजरात की ओर पलायन कर रहा है। कांग्रेस का यह अभियान जनता को सत्ता की सच्चाई दिखाने और विकल्प देने की कोशिश है।