अगस्त 2022 में बिहार में सरकार बदली थी। सरकार के मुखिया के तौर पर तो नीतीश कुमार बने रहे लेकिन सरकार के साझीदार के रूप में भाजपा को हटाकर राजद और कांग्रेस की एंट्री हो गई थी। सरकार बनने के कुछ वक्त बाद से ही यह कयास लगाए जाने लगे कि लालू यादव और नीतीश कुमार के बीच एक डील हुई है। अफवाहों के मुताबिक इस डील में कुछ माह बाद नीतीश कुमार को बिहार की सत्ता तेजस्वी यादव को ट्रांसफर कर उन्हें दिल्ली की राजनीति में जाना था। अफवाहों को बल तब मिला जब नीतीश कैबिनेट में मंत्री सुधाकर सिंह ने इस पर मुहर लगा दी। कुछ वक्त बाद जदयू के तत्कालीन संसदीय बोर्ड के अध्यक्ष उपेंद्र कुशवाहा भी इसी डील को लेकर नीतीश कुमार से जवाब मांगने लगे। जवाब न लालू-तेजस्वी ने दिया और न ही नीतीश कुमार ने। लेकिन सुधाकर सिंह की मंत्री पद से और उपेंद्र कुशवाहा की जदयू से छुट्टी हो गई। दोनों ने इस्तीफा दिया। अब इस डील पर लालू यादव ने कुछ बातों का खुलासा किया है।
सुधाकर सिंह ने की थी शुरुआत
दरअसल, महागठबंधन की सरकार बनने पर रामगढ़ से राजद विधायक सुधाकर सिंह को कृषि मंत्री बनाया गया। मंत्री बनते ही उन्होंने विभाग की कमियों को सार्वजनिक तौर पर गिनाना शुरू किया। उन्हें टोका गया तो वे सीधे नीतीश कुमार पर ही हमलावर हो गए। थोड़ी तल्खी और बढ़ी तो सुधाकर सिंह ने तेजस्वी यादव को सीएम बनवाने की मुहिम शुरू कर दी। इस दौरान उन्होंने कई बार कहा कि नीतीश कुमार अब तेजस्वी यादव को बिहार सरकार की कमान सौंप दें। उन्होंने यह भी कहा था कि बात यही हुई थी। हालांकि न तेजस्वी सीएम बने और न नीतीश हटे। सुधाकर सिंह ने ही मंत्री पद से इस्तीफा दे दिया।
नीतीश कुमार का रवैया भी ऐसा ही था
सुधाकर सिंह की बातों को तब लोगों ने इसलिए भी सही माना क्योंकि तेजस्वी को सरकार में शामिल करते ही नीतीश कुमार ने उन्हें अपना उत्तराधिकारी घोषित कर दिया। तेजस्वी यादव कई ऐसी बैठकों में बिहार के प्रतिनिधि के रूप में गए, जिसमें सीएम को आमंत्रित किया गया था। इसलिए लोगों को लगने लगा कि हो सकता है कि सुधाकर सिंह जिस डील की बात कर रहे हैं, वो सच हो। यही सच जानने के लिए जदयू के तत्कालीन संसदीय बोर्ड अध्यक्ष उपेंद्र कुशवाहा ने सवाल उठाए। उपेंद्र ने तब कहा कि डील हुई है तो सार्वजनिक हो। यह अलग बात है कि डील की बात नकारते हुए जदयू नेताओं ने ऐसे हालात बना दिए कि उपेंद्र कुशवाहा को जदयू छोड़ अलग पार्टी बनानी पड़ी।
लालू ने दिया स्पष्टीकरण
नीतीश कुमार और लालू यादव के बीच जिस तथाकथित डील में तेजस्वी यादव को सीएम बनाने की डील का दावा किया जा रहा था, उस पर लालू यादव ने स्पष्टीकरण दिया है। लालू प्रसाद ने साफ कर दिया है कि तेजस्वी यादव को सीएम बनाने के लिए मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने किसी तरह की कोई डील नहीं हुई है। तेजस्वी को सीएम के तौर पर देखना जरूर चाहते हैं लेकिन फिलहाल यह कोई मुद्दा नहीं है। अभी देश से भाजपा को हटाना है और हमारा ध्यान वहीं हैं। लालू ने आगे कहा कि कार्यकर्ता चाहते हैं कि तेजस्वी मुख्यमंत्री बनें, उससे इनकार नहीं है। लेकिन अभी यह मुद्दा नहीं है। वैसे भी तेजस्वी डिप्टी सीएम तो हैं ही।