भारतीय जनता पार्टी और कांग्रेस राजनीतिक ‘दुश्मन’ हैं। दोनों के बीच राजनीतिक दुश्मनी का असर कई बार व्यक्तिगत भी हो जाता है। लेकिन पिछले कुछ दिनों में भाजपा और कांग्रेस कुछेक मुद्दों पर साथ दिखने लगे हैं। इसे कांग्रेसी नेताओं की भाजपा में शामिल होने का असर कहें या राजनीतिक हित की बात, एक बार फिर भाजपा और कांग्रेस एक मंच पर साथ दिख रहे हैं।
दिल्ली में साथ आए भाजपा और कांग्रेस
दरअसल, भाजपा और कांग्रेस दोनों एक साथ आए हैं दिल्ली में अरविंद केजरीवाल के खिलाफ। इन दोनों पार्टियों ने कोई साझा कार्यक्रम तो शुरू नहीं किया है, लेकिन जिस तरह ये दोनों एक साथ आम आदमी पार्टी पर हमलावर हैं उससे लग रहा दोनों साथ काम कर रहे हैं। आबकारी नीति में भ्रष्टाचार के आरोप मनीष सिसोदिया पर निशाना भाजपा पहले से साध रही थी। अब कांग्रेस नए मुद्दे को लेकर आई है।
उपराज्यपाल से कांग्रेस नेताओं ने की मुलाकात
दिल्ली कांग्रेस अध्यक्ष अनिल कुमार की अध्यक्षता में पार्टी नेताओं ने दिल्ली के उपराज्यपाल वीके सक्सेना से मुलाकात कर आरोप लगाया कि दिल्ली सरकार शहर में सार्वजनिक शौचालयों का प्रबंधन प्रतिबंधित कंपनी को सौंपने की योजना बना रही है। कांग्रेस का कहना है कि उन्होंने एलजी को एक ज्ञापन सौंपा है। साथ ही पब्लिक टॉयलेट में वेस्टर्न टॉयलेट सीट लगाने के लिए दिल्ली सरकार की कांट्रैक्ट की जांच की मांग की है। इसमें कांग्रेस नेताओं ने सीधे मनीष सिसोदिया पर आरोप लगाए हैं जो शहरी विकास मंत्री भी हैं।
प्रतिबंधित कंपनी को ठेका देने का आरोप
अनिल कुमार ने सिसोदिया पर आरोप लगाया कि जिस कंपनी को उन्होंने खुद प्रतिबंधित किया है अब उसे ही टेंडर दे रहे हैं। उन्होंने कहा कि,”18 अगस्त को, 559 सार्वजनिक सुविधा परिसरों में 18,620 शौचालयों के निर्माण के लिए एक डिबार्ड कंपनी को ठेका देने का निर्णय लिया गया था। दिल्ली सरकार टेंडर जारी करने के लिए पारंपरिक ई-प्रोक्योरमेंट वेबसाइट के बजाय GeM पोर्टल पर गई, और सीधे एक प्रतिबंधित कंपनी को ठेका देने की पेशकश की।”