बांग्लादेश (Bangladesh Crisis) की मौजूदा स्थिति को लेकर केंद्र सरकार ने मंगलवार को सर्वदलीय बैठक बुलाई। बैठक में केंद्र सरकार ने बांग्लादेश और शेख हसीना पर भारत के मौजूदा स्टैंड के बारे में जानकारी दी। केंद्र सरकार के स्टैंड पर विपक्ष ने भी सहमति जताई। बांग्लादेश में राजनीतिक संकट पर शिवसेना(UBT) सांसद संजय राऊत ने कहा कि जिस देश को हमने बनाया है उस देश की हालत देखिए, वो इसलिए कि लोकतंत्र के नाम पर वहां तानाशाही चल रही थी। विरोधियों को जेल में डाला गया, झूठे मुकदमे चले। महंगाई हो गई बेरोजगारी बढ़ गई। सत्ताधारी घूमते रहे। लोकतांत्रिक देश में जनता एक हद कर सहती है बाद में सड़क पर उतरती है।
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RJD सांसद मनोज झा ने कहा कि मुझे पूरा विश्वास है कि हमारे प्रधानमंत्री और विदेश मंत्री एस जयशंकर पिछले कुछ हफ्तों से चल रही घटनाओं पर नज़र रख रहे हैं और एक खाका भी होगा। यह एक बहुस्तरीय वास्तुकला है। लोकतंत्र की आकांक्षा को संबोधित नहीं किया गया। अगर हम इस पूरी वास्तुकला को समझते हैं, तो यह सब कुछ की परिणति है। शेख हसीना को देश छोड़ना पड़ा। हम इस बहुस्तरीय वास्तुकला को समझने के बाद हमारी सरकार जो भी निर्णय लेगी, हम उसके साथ खड़े होंगे।
वहीं कांग्रेस सांसद शशि थरुर ने कहा कि सबसे पहला और सबसे महत्वपूर्ण संकेत जो हमें बांग्लादेश के लोगों को भेजना है, वह यह है कि हम उनके साथ खड़े हैं… हम लोगों के साथ हैं, हम उनके अपने राजनीतिक भाग्य और अपने प्रतिनिधि का निर्धारण करने के अधिकार के लिए खड़े हैं। यह कहने के बाद, हमें स्पष्ट रूप से बहुत अधिक सतर्क रहना होगा। कुछ परेशान करने वाली रिपोर्टें सामने आ रही हैं… उम्मीद है कि वहां माहौल शांत हो… वहां स्थिति आने वाले एक-दो दिन में स्थिर हो सकती है… अगर ऐसा नहीं होता है, तो निश्चित रूप से हमारे देश में शरणार्थियों के आने का खतरा है…”
विदेश मंत्री जयशंकर ने दिया जवाब
बैठक में मौजूद लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी ने भी केंद्र सरकार से सवाल पूछे। राहुल गांधी ने सर्वदलीय बैठक में सरकार से तात्कालिक और दीर्घकालिक रणनीति के बारे में पूछा। राहुल गांधी ने ये भी जानना चाहा कि क्या बांग्लादेश में जो हुआ, उसके पीछे विदेशी हाथ है? विदेश मंत्री एस जयशंकर ने सर्वदलीय बैठक में सरकार का पक्ष रखा। उन्होंने राहुल गांधी के सवाल के जवाब में कहा, बांग्लादेश में बदलते घटनाक्रम पर सरकार नजर बनाए हुए है। यह भी बताया कि पाकिस्तान के एक राजनयिक ने सोशल मीडिया पर आंदोलन की तस्वीर वाली डीपी लगाई थी जिसके बारे में जानकारी जुटाई जा रही है।
बैठक में सरकार ने क्या क्या बताया?
भारत सरकार ने सर्वदलीय बैठक में बताया कि हम बांग्लादेश के हालात पर पूरी नजर बनाए हुए हैं। सरकार ने बताया कि अभी बांग्लादेश में 12000 से 13000 भारतीय हैं। हालांकि, देश में स्थिति इतनी भयावह नहीं है कि अपने नागरिकों को वहां से निकालना पड़े। सरकार ने बताया कि कुल 20000 लोग फंसे हुए थे। इनमें से 8000 छात्र वापस भारत आ गए हैं।
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बता दें कि बांग्लादेश में आरक्षण को लेकर फैली हिंसा और विरोध प्रदर्शन के बाद शेख हसीना ने प्रधानमंत्री पद से इस्तीफा दे दिया। सरकार गिरने के बाद हसीना भारत आ गईं। हालांकि, उन्होंने ब्रिटेन से राजनीतिक शरण की मांग की है। जब तक ब्रिटेन हसीना को शरण नहीं मिल जाती तब तक शेख हसीना भारत में ही रहेंगी। भारत सरकार ने सोमवार को उनकी सरकार के पतन के बाद अंतरिम प्रवास की इजाजत दे दी है।