Pawan Singh RK Singh Meeting: बिहार विधानसभा चुनाव 2025 से पहले भोजपुरी सिनेमा के पावर स्टार पवन सिंह और भाजपा नेता एवं पूर्व केंद्रीय मंत्री आरके सिंह की मुलाकात ने राजनीतिक गलियारों में हलचल तेज कर दी है। दिल्ली में हुई इस मुलाकात के बाद यह सवाल जोर पकड़ने लगा है कि क्या पवन सिंह बिहार की राजनीति में कोई नया कदम उठाने जा रहे हैं।
सोमवार शाम पवन सिंह आरके सिंह के दिल्ली स्थित आवास पर पहुंचे। सूत्रों के मुताबिक दोनों के बीच एक निजी बैठक भी हुई, जो करीब पांच मिनट तक चली। भले ही बातचीत की पूरी डिटेल सामने नहीं आई हो, लेकिन इस मुलाकात के बाद सोशल मीडिया पर कयासबाजी शुरू हो गई है। खुद पवन सिंह ने अपनी इंस्टाग्राम पोस्ट में तस्वीरें साझा कीं और लिखा, “एक नई सोच के साथ एक नई मुलाकात।” उनके इस संदेश ने सियासी चर्चाओं को और हवा दे दी है।
तस्वीरों में पवन सिंह और आरके सिंह को अलग-अलग जगहों पर बातचीत करते हुए देखा जा सकता है। दोनों नेताओं की नजदीकी चर्चा में इसलिए भी है क्योंकि हाल ही में हुए लोकसभा चुनाव 2024 में पवन सिंह ने भाजपा से बगावत कर काराकाट से निर्दलीय मैदान में उतरकर दूसरी पोजीशन हासिल की थी। भाजपा ने उन्हें पश्चिम बंगाल की आसनसोल सीट से टिकट दिया था, लेकिन पवन सिंह ने इसे ठुकरा दिया और बिहार में चुनाव लड़ना चुना। इस फैसले से भाजपा को करारा झटका लगा था और एनडीए प्रत्याशी उपेंद्र कुशवाहा को हार का सामना करना पड़ा था।
वहीं, आरके सिंह खुद भी 2024 के लोकसभा चुनाव में आरा सीट से हार गए थे। उन्हें CPI(ML) उम्मीदवार सुदामा प्रसाद ने लगभग 60 हजार वोटों से हराया। ऐसे में पवन सिंह और आरके सिंह की मुलाकात को राजनीतिक समीकरण बदलने वाले संकेत के रूप में देखा जा रहा है।
पवन सिंह पहले ही 2025 के विधानसभा चुनाव लड़ने के संकेत दे चुके हैं। उनकी पत्नी ज्योति सिंह भी सक्रिय राजनीति में उतरने की तैयारी में हैं। कुछ समय पहले उनके प्रशांत किशोर की जन सुराज पार्टी से जुड़ने की चर्चाएं भी सामने आई थीं। अब आरके सिंह से मुलाकात ने इस बहस को नया आयाम दे दिया है कि पवन सिंह भाजपा या NDA के साथ फिर से नजदीकी बढ़ा सकते हैं।
वैसे बिहार की राजनीति में जब-जब चुनाव करीब आते हैं, नई राजनीतिक जोड़तोड़ की कहानियां लिखी जाती हैं। आने वाले दिनों में यह स्पष्ट होगा कि यह मुलाकात सिर्फ शिष्टाचार भर थी या फिर इसके पीछे कोई बड़ा सियासी खेल छिपा है। लेकिन इतना तय है कि पवन सिंह और आरके सिंह की इस मुलाकात ने बिहार चुनाव 2025 से पहले राजनीति का पारा जरूर बढ़ा दिया है।






















