संतोष सुमन के इस्तीफे के बाद बिहार में सियासी हलचल है। इस घटनाक्रम के बाद महागठबंधन सरकार के खिलाफ अलग-अलग पार्टी के नेताओं की प्रतिक्रिया आने लगी है। इसी क्रम में प्रशांत किशोर की भी प्रतिक्रिया सामने आई है। प्रशांत किशोर ने कहा कि बिहार की जनता को लगता है कि बिहार में जाति की राजनीति हो रही है। मैं आपको कई उदाहरणों से बता सकता हूं कि बिहार में जाति की राजनीति नहीं हो रही है। क्या आपने सुना है कि जीतन राम मांझी किसी दलित के लड़के को बिहार का मुख्यमंत्री बनाना चाहते हैं? जीतन राम मांझी सिर्फ अपने बेटा को मुख्यमंत्री बनाने के बारे में सोचते हैं। अगर उन्हें दलित समाज की चिंता होती तो क्या दलित समाज में दूसरा कोई काबिल आदमी उन्हें नहीं मिलता?
जाति की राजनीति नहीं करना चाहते ये लोग
प्रशांत किशोर ने कहा कि आपने कभी सुना है कि लालू यादव ने कहा हो कि यादव समाज का लड़का बिहार का अगला मुख्यमंत्री बनेगा? क्या यादव समाज में उनके लड़के के अलावा और कोई पढ़ा-लिखा आदमी नहीं है? आज सब नेता अपने-अपने परिवार को राजनीति में लाने और कोई न कोई पद दिलवाने में लगे हैं। नेता जाति की राजनीति किसी सूरत में नहीं करना चाहते। आज नेता सिर्फ अपना और अपने लड़के की चिंता कर रहे हैं। जाति-धर्म के फेर में आप आम लोग पड़े हैं।