एनसीपी कोर कमिटी ने शरद पवार के इस्तीफे को नामंजूर कर दिया है। आज हुई एनसीपी कोर कमिटी के बैठक में ये फैसला लिया गया है कि शरद पवार अध्यक्ष पद का अपना कार्यकाल पूरा करे। कमिटी में ये प्रस्ताव प्रफ्फुल पटेल की तरफ से रखा गया। जिसपर सभी ने सहमति के बाद फैसला लिया गया है। बता दें कि इस कमिटी में जिसमें शरद पवार की बेटी सुप्रिया सुले, उनके भतीजे अजित पवार, प्रफुल्ल पटेल, छगन भुजबल और अन्य नेताओं को सदस्य के तौर पर शामिल किया गया है।
पवार का ‘पावर’ ट्रांसफर, बेटी या भतीजा किसे मिलेगी NCP की कमान, फैसला आज
पवार के पास रहेगा पवार
दरअसल 2 मई को एक कार्यक्रम के दौरान अचानक शरद पवार ने अपने इस्तीफे का ऐलान किया था। जिसके बाद उनकी पार्टी के नेताओं द्वारा उन्हें अपना फैसला बदलने का आग्रह किया गया। इस्तीफे के ऐलान के बाद 15 सदस्यीय एक कमिटी भी बनाई गई। आज मुंबई में पार्टी कार्यालय में समिति की बैठक हुई। ऐसा माना जा रहा था कि इस बैठक के बाद नए अध्यक्ष का ऐलान हो सकता है। लेकिन कमिटी ने शरद पावर के इस्तीफे को सर्वसम्मति से से नामंजूर का दिया। बैठक के बाद मीडिया से बात करते हुए एनसीपी नेता प्रफ्फुल पटेल ने कहा कि हम अभी नया अध्यक्ष नहीं चुन सकते।
इस्तीफे के ऐलान को लेकर किसी को कोई जानकारी नहीं है थी। इसलिए कमिटी ने सर्वसम्मति से उनके इस्तीफे को नामंजुर कर दिया है। इस फैसले को लेकर अब कमिटी के सदस्य शरद पवार से मिलेंगे। मतलब साफ है कि एनसीपी में पवार, पवार के हाथ में ही रहने वाला है। हालांकि अभी ये देखना खास होगा कि कमिटी के फैसले पर शरद पवार की क्या प्रतिक्रिया आती है।
1999 में बनी थी NCP
शरद पवार शुरुआत में कांग्रेस से जुड़े थे। महाराष्ट्र के सबसे युवा मुख्यमंत्री होने का रिकॉर्ड शरद पवार के नाम पर ही है। कांग्रेस में रहते हुए शरद पवार चार बार सीएम बने। लेकिन 1999 में शरद पवार ने अलग पार्टी एनसीपी बना ली। तभी से वो एनसीपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष है।