Bihar Assembly Monsoon Session: बिहार विधानसभा का मानसून सत्र आज एक बार फिर हंगामे और प्रदर्शनों की गवाही बना। जन सुराज पार्टी के प्रमुख प्रशांत किशोर के नेतृत्व में सैकड़ों कार्यकर्ताओं ने बुधवार को विधानसभा परिसर का घेराव किया, जिसके बाद सदन की कार्यवाही दोपहर 2 बजे तक के लिए स्थगित कर दी गई। इस प्रदर्शन के पीछे पार्टी ने सरकार पर गरीबों को 2 लाख रुपये की रोजगार सहायता न देने, दलित भूमिहीनों को जमीन न मिलने और भूमि सर्वेक्षण में भ्रष्टाचार के आरोप लगाए हैं। जनसुराज के इस घेराव के दौरान पुलिस ने प्रशांत किशोर को हजारों समर्थकों के साथ पटना के चितकोहरा गोलंबर पर पुलिस ने रोका और लाठीचार्ज किया।

“सरकार गरीबों के साथ धोखा कर रही है” – प्रशांत किशोर का आरोप
प्रदर्शन के दौरान प्रशांत किशोर ने मीडिया से बातचीत में कहा कि बिहार सरकार ने गरीब परिवारों को 2 लाख रुपये देने का वादा किया था, लेकिन आज तक उन्हें एक पैसा भी नहीं मिला। दलित भूमिहीनों को तीन डिसमिल जमीन देने की बात हुई थी, पर यह भी झूठ साबित हुआ। सरकार सिर्फ वादे करके जनता को भरमा रही है।
उन्होंने आगे कहा कि जन सुराज पार्टी ने इन मुद्दों पर एक करोड़ लोगों के हस्ताक्षर जुटाए हैं और आज का प्रदर्शन सरकार को जवाबदेह ठहराने के लिए किया गया है।
पटना में जबरदस्त सुरक्षा व्यवस्था, कार्यकर्ताओं को रोकने की कोशिश
प्रदर्शन से पहले ही पटना प्रशासन ने विधानसभा और उसके आसपास के इलाकों में भारी सुरक्षा बलों की तैनाती कर दी थी। पुलिस ने एयरपोर्ट रोड से लेकर विधानसभा तक कई बैरिकेड्स लगाए, ताकि कार्यकर्ताओं को रोका जा सके। हालांकि, जन सुराज के समर्थकों ने अलग-अलग रास्तों से आकर विधानसभा के बाहर जमावड़ा किया और नारेबाजी की।
सदन में भी हंगामा, कार्यवाही स्थगित
जन सुराज पार्टी के प्रदर्शन की खबरें जैसे ही विधानसभा पहुंचीं, सदन में भी अफरा-तफरी मच गई। विपक्षी दलों के विधायकों ने भी सरकार पर जमकर हमला बोला और मांग की कि प्रशांत किशोर द्वारा उठाए गए मुद्दों पर गंभीरता से विचार किया जाए। इसके बाद अध्यक्ष ने सदन की कार्यवाही को दोपहर 2 बजे तक के लिए स्थगित कर दिया।