क्रिकेट मैदान पर बल्लेबाजी करने के दौरान एक खिलाड़ी की मौत हो गई है। 13 गेंदों पर 31 रनों की धुंआदार पारी खेलकर खिलाड़ी ने टीम को साल की आखिरी मैच में जीत दिलाने की बात कही। उसने कहा, ठहरो और छक्के मारूंगा! फिर सीने में दर्द कहकर दुष्यंत मैदान के बाहर आकर बैठे। वह 15 मिनट बाद उनकी तबीयत और ज्यादा बिगड़ी तो दोस्त अस्पताल ले गए। मगर, रास्ते में ही दुष्यंत की मौत हो चुकी थी। घटना मेरठ शहर की है।
रविवार को खेलते थे मैच
दुष्यंत के साथी खिलाड़ी पुष्पेंद्र, मुकुल शर्मा, सुमित मित्तल, शैंकी ने बताया कि उनकी टीम हर रविवार को मैच खेलती है। इस बार कैंट बोर्ड से गांधी बाग के मैदान को बुक किया था। मैच खेलने के लिए टीमें सुबह 8:30 बजे मैदान पहुंची थी। टॉस बाद ओल्ड गन क्लब पहले बल्लेबाजी करने उतरी।
दुष्यंत ने की थी ओपनिंग
ओपनिंग में दुष्यंत वर्मा मैदान पर पहुंचे और जबर्दस्त पारी खेली। उनकी तबीयत बिगड़ते ही सन्नाटा छा गया। पुष्पेंद्र ने उनके छोटे भाई शशांक वर्मा एवं पिता बिजेंद्र वर्मा को मेट्रो हास्पिटल बुलाया। यहां डॉक्टर ने दुष्यंत को मृत घोषित कर दिया।
फरवरी में है बहन की शादी
दुष्यंत एवं उसका भाई आनंद अस्पताल के पास मेडिकल स्टोर पर काम करते थे। फरवरी में छोटी बहन शालू की शादी है। घर में तैयारियां चल रही हैं। भाई की मौत होने से शालू बार-बार बेहोश हो रही थी। दुष्यंत के पड़ोसी ने बताया कि 24 नवंबर को ही उसके साढू की मौत हुई थी। उसकी पत्नी सुनीता रविवार को बहन के घर मिलने जा रही थी। वह बहन के घर जाने के लिए तैयारी कर चुकी थी, लेकिन उसी समय दुष्यंत की मौत की खबर आ गई।