बिहार में भाजपा को एक बड़ा झटका लगा है। भाजप के पूर्व उपाध्यक्ष राजीव रंजन जेडीयू में शामिल हो गए हैं। जेडीयू के राष्ट्रीय अध्यक्ष ललन सिंह की उपस्थिति में राजीव रंजन को जेडीयू की सदस्यता दिलाई गई। आज यानी रविवार को जेडीयू कार्यालय के कर्पूरी सभागार में मिलन समारोह का आयोजन किया गया था। इसी मिलन समारोह में ललन सिंह ने उन्हें जेडीयू की सदयता दिलाई। ललन सिंह ने उन्हें अपनी पार्टी के चिन्ह वाला गमछा पहना कर स्वागत किया साथ ही ये भी कहा कि भगवा छोड़कर जेडीयू में आने के लिए आपका स्वागत है।
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राजीव रंजन की घर वापसी
बता दें कि राजीव रंजन पहले भी जेडीयू में ही रहे थे। उन्होंने जेडीयू की टिकट पर साल 2010 में इस्लामपुर से विधायक चुने गए थे। साल 2014 में जेडीयू का साथ छोड़ वो भाजपा में शामिल हो गए थे। लेकिन एक बार फिर उनकी घर वापसी करते हुए वो जेडीयू में शामिल हो गए हैं। कुछ समय पहले ही वो भाजपा से इस्तीफा दे दिया था तभी से उनके जेडीयू में शामिल होने की चर्चाएं तेज थी। जेडीयू में शामिल होने के बाद उन्होंने कहा कि जेडीयू को छोड़ना उनकी राजनीतिक भूल थी। साथ ही जेडीयू का हिस्सा बनाने के लिए उन्होंने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार, राष्ट्रीय अध्यक्ष ललन सिंह, प्रदेश अध्यक्ष उमेश कुशवाहा व जेडीयू के अन्य वरीय नेताओं के प्रति आभार व्यक्त किया।
भाजपा पर आरोप
भाजप से इस्तीफा देने के बाद से ही राजीव रंजन भाजपा पर हमलवार थे। उन्होंने भाजपा पर कई गंभीर आरोप भी लगाया था। उन्होंने कहा था कि पीएम मोदी की नीतियों को बिहार भाजपा दरकिनार करने की कोशिश कर रही है। साथ ही भाजपा पर पिछड़ा और दलित की अनदेखी करने का आरोप भी लगाया था। उनका कहना था कि भाजपा सबका साथ सबका विकास और सबका विश्वास के नारे के खिलाफ काम कर रही है। इसी सब से नाराज होकर उन्होंने भाजपा छोड़ा था। अब एक बार फिर से जेडीयू में शामिल हो गए हैं।