समस्तीपुर जिले में निर्माणाधीन बख्तियारपुर-ताजपुर गंगा महासेतु (Ganga Mahasetu) का स्पैन रविवार की देर शाम अचानक गिर गया जिससे मौके पर अफरा-तफरी मच गयी। घटना नंदनी लगुनिया रेलवे स्टेशन के पास की जहां दो पिलरों के बीच स्पैन लगाने का काम चल रहा था। जो अचानक रविवार शाम को धराशायी हो गया। बिहार में लगातार पुलों के गिरने का मामला सामने आ रहा है, ऐसे में इसको लेकर बिहार की सियासत एक बार फिर गरमा गई है। पुल गिरने के मामले को लेकर आरजेडी ने सरकार को घेरा है।
पार्टी के मुख्य प्रवक्ता शक्ति सिंह यादव ने कहा है कि यह पुल 1600 करोड़ रुपए की लागत खर्च से बन रहा था। मुख्यमंत्री नीतीश कुमार न जाने कितनी बार इस पुल का निरीक्षण करने गए भी हैं उसके बावजूद भी पुल बनाने में भ्रष्टाचार हुआ है। राजद नेता ने कहा कि भ्रष्टाचार सरकार की रग-रग में है और भारतीय जनता पार्टी के पास पुल निर्माण निगम विभाग है। बिहार में एनडीए की सरकार भ्रष्टाचार को संरक्षण देने का काम कर रही है। अब बिहार के लोग पुल पर चलने से डरेंगे। ना जाने कौन सा पुल कब गिर जाए किसी को पता नहीं है।
वहीं पुल गिरने के मामले पर जदयू ने सफाई दी है। जदयू के मुख्य प्रवक्ता नीरज कुमार ने कहा कि जिस पुल के स्पैन गिरने की बात कही जा रहीं है वो बेबुनियाद है। नीरज कुमार ने कहा जिस स्पैन के गिरने की बात हो रही है वो स्पैन आरओबी से जुड़ा ही नहीं है तो फिर गिरा कैसे। बने रहे पुल के स्पैन में कुछ जंग लग गया था, उसे बदलने की कवायद चल रहीं है।
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बता दें कि यह पुल मुख्यमंत्री नीतीश कुमार का ड्रीम प्रोजेक्ट है जिसकी आधारशिला 2011 में रखी गयी थी। जिसका निर्माण 2016 में पूरा होना था लेकिन आज तक यह बनकर तैयार नहीं हुआ है। 1603 करोड़ रुपये की लागत होने वाले इस पुल का 60 फीसदी काम ही पूरा हो पाया है और जिसमें 1000 करोड़ से अधिक खर्च भी हो चुका है।