बिहार विधानसभा में मंगलवार को शीतकालीन सत्र के दूसरे दिन के पहले सेशन प्रश्नोत्तर काल में विपक्ष का शिक्षा विभाग (Education Department) से सवाल काफी सुर्ख़ियों में रहा है। शिक्षा मंत्री से विपक्ष के विधायक ने काफी सवाल किए। इसके बाद शिक्षा विभाग से जुड़े सवाल पर नीतीश सरकार के मंत्री के जवाब से नाखुश विपक्षी दलों के सदस्यों ने अपनी जगह पर खड़े होकर नारेबाजी की।
दरअसल, राजद विधायक ललित यादव ने एक स्कूल से जुड़ा सवाल किया। उन्होंने कहा कि स्कूल की बेशकीमती लकड़ी और लोहा बिना किसी मंजूरी के बेच दी गई। इस पर शिक्षा मंत्री सुनील कुमार ने जवाब किया कि मामले की जांच करा ली जाएगी। लेकिन किस सक्षम प्राधिकार से जांच कराई जाएगी सिको लेकर स्पष्ट जवाब नहीं देने पर ललित यादव ने जवाब को असंतोषप्रद कहा। ऐसे में शिक्षा मंत्री के जवाब से असंतुष्ट विपक्षी सदस्यों ने अपनी जगह पर खड़े होकर जोरदार हंगामा करने लगे। उसके बाद अध्यक्ष नंद किशोर यादव ने सदस्यों को समझाकर बैठाया दिया।
वहीं शिक्षकों के मुद्दों पर भी सदन में विपक्ष ने सीएम नीतीश को घेरा है। सदन में विपक्ष ने महाराष्ट्र सरकार की उदाहरण देते हुए कहा कि क्या बिहार सरकार भी महाराष्ट्र सरकार की तरह विशेष शिक्षकों को नियमित करेगी। विपक्ष ने विशेष शिक्षकों को नियमित करने को लेकर सवाल किया। विपक्ष ने पूछा कि सर्वोच्च न्यायालय के आदेश में स्पष्ट है कि पहले शिक्षकों का शिक्षकों का सामान्य जन करना है उसके बाद रिक्त पद भरना है। सर्वोच्च न्याय के द्वारा पारित आदेश में यह स्पष्ट उल्लेख है कि जो एसएसए और आरएमएसए में कार्यरत विशेष शिक्षकों को सामान्य जन करने के बाद बचे हुए पद पर भर्ती करना है।
इस सवाल पर शिक्षा मंत्री सुनील कुमार ने जवाब देते हुए कहा कि, शिक्षा विभाग ने विशेष शिक्षकों का 5,534 पदों पर भर्ती निकाली है। खास कर हमलोग कक्षा 9 औऱ 12 के लिए अधियाचना बीपीएससी को भेज दिया है। 213 विशेष शिक्षकों को 9 से 12 कक्षा के लिए नियुक्ति भी किया है। सर्वोच्च न्यायालय में विचाराधीन है लेकिन सरकार ने अपनी कार्रवाई पूरी की है।
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जिसके बाद विपक्ष के नेता ने कहा कि इस आदेश को मानते हुए महाराष्ट्र सरकार ने शिक्षा परियोजना में कार्यरत 2984 विशेष शिक्षकों को 30-9-24 को कैबिनेट में पास किया तो क्या बिहार शिक्षा परियोजना परिषद में शिक्षा 19 वर्षों से कार्यरत विशेष शिक्षकों को नियमित करेंगी? जिसको लेकर शिक्षा मंत्री ने कहा कि, सरकार ने जो निर्णय लिया है कि एग्जाम के माध्यम से ही विशेष शिक्षकों को नियमित करेंगे। हालांकि जो पहले से कार्यरत विशेष शिक्षक हैं उनके लिए कुछ अलग से प्रावधान करेंगे।
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इससे पहले बिहार विधानसभा में विपक्ष के विधायक मुकेश कुमार ने कहा कि क्या मंत्री, शिक्षा विभाग, यह बतलाने की कृपा करेंगे कि क्या यह बात सही है कि बिहार राज्य के प्रारंभिक से उच्चतर माध्यमिक विद्यालयों में “ई” शिक्षा ऐप पर उपस्थिति अनिवार्य किया गया है जबकि “ई” शिक्षा ऐप सही से कार्य नहीं कर रहा है, जिससे शिक्षकों को उपस्थिति दर्ज करने में कठिनाई हो रही है?