लोजपा( रामविलास) के राष्ट्रीय अध्यक्ष चिराग पासवान और उनके चाचा रालोजापा के राष्ट्रीय अध्यक्ष पशुपति पारस के बीच की तनातनी जगजाहिर है। दोनों के फूट को लेकर जो एक बड़ा नाम सामने आता है वो बाहुबली नेता सूरजभान सिंह का है। चिराग पासवान खुद कई बार ये कह चुके हैं की उनकी पार्टी और परिवार को तोड़ने के पीछे सूरजभान सिंह का हाथ है। हालांकि अबतक सूरजभान सिंह इन सारे बातों को लेकर चुप्पी साधे हुए थे। लेकिन अब एक निजी चैनल को दिए इंटरव्यू में उन्होंने अपनी चुप्पी तोड़ी है। उन्होंने कई ऐसी बातें कही है जो काफी हैरान करने वाली है। उन्होंने साफ कह दिया है कि यदि चिराग और पारस एकजुट नहीं हुए तो लोजपा खत्म हो जाएगी।
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“चिराग-पारस से कोई लेना देना नहीं है”
राष्ट्रीय लोक जनशक्ति पार्टी के नेता सूरजभान सिंह ने एक निजी चैनल को दिए इंटरव्यू में कई बड़ी बातें कह डाली है। उन्होंने पशुपति पारस को भी कड़ी चेतावनी दी है। उन्होंने कहा कि मुझे पशुपति पारस और चिराग पासवान से अब कोई मतलब नहीं है। उनदोनों को खुद अपनी स्थिति समझनी चाहिए, उनसे मेरा कोई लेना-देना नहीं हैं। लेकिन जो स्थिति अभी बनी हुई है यदि ऐसा ही रहा तो लोजपा खत्म हो जाएगी। उन्होंने दावा किया कि पासवान वोट दोनों से ही दूर भाग रहे हैं। यदि सबकुछ सही करना है तो दोनों को आपस में मिलना होगा।
“मैं नहीं चाहता था की पार्टी टूटे”
लोजपा को तोड़ने को लेकर अपने उपर लग रहे आरोपों का भी सूरजभान सिंह ने जवाब दिया। उन्होंने कहा कि चिराग और पारस आपसी पारिवारिक लड़ाई में पार्टी को बर्बाद कर दिया है। दोनों में से किसी को भी पार्टी की चिंता नहीं है। मुझ पर आरोप लगते हैं कि मैंने पार्टी तोड़ी जबकि मैं कभी भी नहीं चाहा की पार्टी टूटे। बल्कि मैं जाकर दोनों को समझाता रहा हूं। लेकिन, दोनों अपनी जिद पर अड़े थे। एक पार्टी तोड़ने की धमकी देता था तो दूसरा झुकने को तैयार नहीं था। ऐसे में पार्टी टूटी है।
“पारस के बयान से हुआ दुःख“
कुछ दिनों पहले पशुपति पारस ने चिराग पासवान को लेकर एक बड़ा बयान दिया था। उन्होंने कहा था कि चिराग से मेरा खून का रिश्ता नहीं है। पारस के इस बयान को लेकर भी सूरजभान सिंह ने अपनी प्रतिक्रिया दी। उन्होंने कहा कि मुझे पशुपति पारस के इस बयान से बहुत दुःख हुआ है। उन्हें ऐसा नहीं बोलना चाहिए था। उन्होंने आगे कहा कि पार्टी टूटने के समय चिराग ने पार्टी के नेताओं से दूरी बना ली थी। लेकिन मैं न तो चिराग से दूर रहा हूं और न ही पशुपति पारस से। मुझे लगता है ये दोनों आपस में लड़ते रहे तो पार्टी समाप्त हो जाएगी।
सूरजभान सिंह का बड़ा दावा
गौरतलब हो कि सूरजभान सिंह की भाई चंदन सिंह राष्ट्रीय लोक जनशक्ति पार्टी के सांसद हैं। इनको लेकर भी उन्होंने एक बड़ी बात कही है। उन्होंने कहा कि चंदन सिंह आने वाले चुनाव में भी नवादा से ही चुनाव लड़ेंगे। हालांकि चंदन सिंह किस पार्टी की टिकट पर चुनाव लड़ेंगे इस सवाल पर उन्होंने चुप्पी साध ली। वही अपनी पत्नी और पूर्व सांसद वीणा देवी को लेकर उन्होंने कहा कि वो अब चुनाव नहीं लडेंगी।