बिहार में शिक्षक नियुक्ति नियमावली का जमकर विरोध हो रहा है। सरकार की चेतावनी के बाद भी आज बड़ी संख्या में शिक्षक पटना की सड़कों पर उतरे। शिक्षकों ने बिहार सरकार के खिलाफ जमकर नारेबाजी पर प्रदर्शन किया। शिक्षकों का कहना था की पुराने नियोजित शिक्षकों को राज्य कर्मी का दर्जा सरकार दे, सरकार को मांगों के सामने झुकना ही पड़ेगा। जब तक सरकार मांग नहीं मान लेती तबतक चुप नहीं बैठेंगे। बता दें कि सरकार ने आंदोलन करने वाले शिक्षकों पर कार्रवाई करने का आदेश दिया है। खुद मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने भी आंदोलन ना करने की चेतावनी दी है। इसके बावजूद भी शिक्षक भारी संख्या में पटना की सड़कों पर उतर कर प्रदर्शन किया।
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शिक्षक नियुक्ति नियमावली का विरोध
दरअसल नीतीश कैबिनेट ने कुछ दिनों पहले नई शिक्षक नियुक्ति नियमावली को मंजूरी दी थी। जिसमें शिक्षक बहाली के नियमों को बदला गया था। नए नियम के अनुसार पहले से नियोजित शिक्षकों को भी बीपीएससी की परीक्षा देनी होगी। जिसे लेकर शिक्षक विरोध कर रहे हैं। शिक्षकों का कहना है कि वे पहले एग्जाम दे चुके हैं और इतने सालों से काम करने के बाद अब परीक्षा क्यों दें? इस नियमावली के खिलाफ ही शिक्षक प्रदर्शन कर रहे हैं।
सरकार ने दिया है कार्रवाई का आदेश
नई नियमावली आने के बाद से ही राज्यभर के नियोजित शिक्षकों ने इसका विरोध शुरू कर दिया। शिक्षकों की मांग है कि सरकार नई नियुक्ति नियमावली को वापस ले। राजधानी पटना में शनिवार को सैकड़ों की संख्या में शिक्षक सड़क पर उतरे और मार्च निकाला। शिक्षकों ने बिहार सरकार के खिलाफ नारेबाजी करते नई शिक्षक नियमावली को वापस लेने की मांग की। हालांकि इसे पहले भी वे कई बार नियमावली के विरोध में सड़क पर उतर चुके है। वही सरकार ने प्रदर्शन करने वाले शिक्षकों पर अनुशासनात्मक कार्रवाई करने का निर्देश दिया है। लेकिन शिक्षकों पर इसका असर नहीं दिख रहा है।