रांची: संविधान को मजाक बनाने वाले और बाबा साहब डॉ भीमराव अंबेडकर को भरी संसद में अपमानित करने वाली भाजपा के नेता संविधान गौरव अभियान चलाने की बात करते हैं। यह किसी सस्ते चुटकुले से कम नहीं। उक्त पलटवार भाजपा के पूर्व नेता प्रतिपक्ष अमर बाउरी द्वारा दिए गए बयान पर करते हुए प्रदेश कांग्रेस प्रवक्ता सोनाल शांति ने कहा। उन्होंने कहा कि भाजपा का अभियान संविधान बचाने का नहीं बल्कि संविधान बदलने के लिए जनमत संग्रह के लिए चलाया जाएगा।संविधान बदलने की बात करने के कारण ही 2014 में अकेले बहुमत प्राप्त करने वाली भाजपा आज बैसाखी पर सरकार चला रही है। बाबा साहब के आदर्शों की बात भाजपा नेता के मुंह से अच्छी नहीं लगती। भाजपा धार्मिक आधार पर देश में विभाजन की नीति अपना रही है।आरक्षण को समाप्त कर पिछड़ों,अनुसूचित जाति,जनजाति को समाज की मुख्य धारा से हटाना चाहती है।
महात्मा गांधी के आदर्शों पर चलने वाली कांग्रेस को गोडसे के अनुयायी आईना दिखाने की कोशिश कर रहे हैं,जबकि जनता ने केंद्र से लेकर झारखंड तक उन्हें उनका असली चेहरा दिखा दिया है। हताश-निराश भाजपा अपने प्रमुख एजेंडे धर्म के रास्ते मजबूत होना चाहती है लेकिन देश बाबा साहब के संविधान से चलेगा भाजपा के फरमान से नहीं। महागठबंधन द्वारा जारी 7 गारंटी में से पहली गारंटी के रूप में 56 लाख महिलाओं के खाते में 2500 का लाभ दिया गया जिससे भाजपा औंधे मुंह गिर पड़ी है,उन्हें कुछ समझ में नहीं आ रहा है इसलिए मदहोशी के आलम में कुछ भी बोल रहे हैं। अमर बाउरी खुद अपनी पार्टी की नीतियों के चलते हार का मुंह देख चुके हैं,उन्हें चिंतन की जरूरत है। सरकार की तमाम योजनाएं सुचारू रूप से चल रही है। महागठबंधन सरकार कर्ज लेने की बजाय कर्ज चुका रही है। किसी भी विभाग के बजट में कटौती की बजाय अनुपूरक बजट में पैसे दिए गए।
राजस्व के नए स्रोत की तलाश की जा रही है।लगभग पांच माह तक झारखंड पूरी तरह आचार संहिता के दायरे में था जिसके चलते कार्यों में शिथिलता आई थी,अब सारे विभागों में कार्य युद्ध स्तर पर जारी है।सरकार की कार्य संस्कृति के कारण ही केंद्र द्वारा पूंजीगत व्यय पर झारखंड को बोनस दिया जा रहा है।विकसित झारखंड का लक्ष्य हमारी सरकार का है।भाजपा नीत राज्य सरकार में भाजपा द्वारा चुनाव पूर्व की गई घोषणाएं कूड़ेदान में फेंकी जा रही है और झारखंड में भाजपा आरोप लगा रही है। राजस्थान, असम,हरियाणा,मणिपुर,गुजरात महाराष्ट्र जैसे राज्य में सैकड़ो उदाहरण है। झारखंड में महागठबंधन सरकार की पहली गारंटी पूरी हुई अन्य भी पूरे होंगे।
सभी दलों के घोषणा पत्र को सामने रखकर ही संवेदनशील मुख्यमंत्री के नेतृत्व में सरकार के मंत्री अधिकारी अपना कार्य कर रहे हैं। राज्यसभा और लोकसभा मिलाकर 12 सांसद झारखंड से आते हैं जिसमें से दो केंद्रीय मंत्री हैं।झारखंड के हक के पैसों के लिए प्रधानमंत्री के सामने उन्हें आवाज उठानी चाहिए।जिस जनता के लिए घोषणायें की गई है उन्हें महागठबंधन सरकार पर पूरा भरोसा है हम उनके भरोसे पर खरा उतरेंगे। भाजपा नेता अपनी खीझ मिटाने का दूसरा रास्ता तलाशे।