जमीन घोटाला से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग मामले में हेमंत सोरेन की गिरफ्तारी के बाद चंपई सोरेन झारखंड के सीएम बन चुके हैं. हेमंत सोरेन के परिवार ने टॉप पोस्ट भले ही अपने हाथ में नहीं रहा है लेकिन ‘पावर सेंटर’ अभा भी उनके ही परिवार के पास है. हेमंत के जेल में रहने के कारण उनकी पत्नी कल्पना सोरेन के पास अभी इसकी चाबी हैं.इसकी एक बानगी शुक्रवार को दिखी. जब शपथ ग्रहण से पहले मंत्री बनने जा रहे विधायक कल्पना सोरेन से मिलने उनके आवास पहुंचने लगे.कल्पना सोरेन से मिलने वालों में जेएमएम और कांग्रेस दोनों नेता शामिल थे. कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष राजेश ठाकुर भी उनसे मिले.कल्पना सोरेन से हाफिजुल हसन, बेबी देवी, दीपक बिरुआ और मिथिलेश ठाकुर ने मुलाकात की. मंत्रीमंडल में शामिल होने वाले विधायकों को कल्पना सोरेन ने बधाई भी दीं.
कल्पना सोरेन क्यों नहीं बनी सीएम?
हेमंत सोरेन की गिरफ्तारी की आशंका के बीच झारखंड की राजनीति में इस बात की चर्चा ज्यादा थी कि कल्पना सोरेन अगला सीएम बनेंगी. लेकिन उनके चुनाव में तकनीकी बाधा आ रही थी. सीएम बनने के बाद उन्हें छह महीने के अंदर विधायक बनना होता. और फिलहाल किसी रिक्त सीट पर चुनाव की संभावना नहीं थी. ऐसे में हेमंत सोरेन ने अपने विश्वासपात्र चंपई सोरेन को मौका दिया.
हेमंत सोरेन के काम को आगे बढ़ाएंगे चंपई सोरेन
कल्पना सोरेन फिलहाल अपने पति हेमंत सोरेन का सोशल मीडिया हैंडल संभाल रही हैं. सोशल मीडिया के माध्यम से वे पार्टी की बात रखती हैं. इसके साथ ही विपक्षी बीजेपी पर भी हमलावर रहती हैं. चंपई सोरेन ने कहा है कि हेमंत सोरेन के काम काज को अब आगे बढ़ायेंगे. सीएम का पद ग्रहण करते वक्त उन्होंने कहा था कि केवल नेतृत्व परिवर्तन हुआ है. उधर, दो दिन पहले दुमका में एक कार्यक्रम के दौरान बसंत सोरेन, हेमंत सोरेन को याद कर रोने लगे थे. बसंत ने कहा था कि यह मंच उनके बिना अधूरा है. बसंत सोरेन को भी कैबिनेट में जगह दी गई है. वहीं, जब मंत्रियों ने कल्पना सोरेन से मुलाकात की तो यह साफ हो गया कि पार्टी के कार्यकारी अध्यक्ष की जगह वह ही सत्ता के केंद्र में होंगी.