झारखंड में टेंडर कमीशन घोटाला मामले में ग्रामीण विकास मंत्री आलमगीर आलम से प्रवर्तन निदेशालय (ED) की पूछताछ जारी है। पूछताछ के क्रम में मंत्री आलमगीर आलम ने जो जानकारी ED को दी है और संजीव लाल-जहांगीर के डिजिटल डिवाइस से जानकारी सामने आई हैं, वो मैच कर रही हैं।
ये जानकारियां बता रही हैं कि ग्रामीण विकास विभाग में कमीशनखोरी होती थी। इसमें मंत्री आलमगीर की भी हिस्सेदारी होती है। ये कमीशन उनके पीएस संजीव लाल कमीशन फाइनल करते थे और जहांगीर के फ्लैट में कमीशन के पैसे रखे जाते थे। इस मामले में उनके संजीव लाल और उसके सहायक जहांगीर से सवाल-जवाब का सिलसिला जारी है।
दरअसल, शनिवार को संजीव लाल और जहांगीर रिमांड खत्म हो गई थी, जिसके बाद दोनों को कोर्ट में पेश किया गया। ED ने कोर्ट से कहा कि संजीव और जहांगीर तथ्यों को छिपा रहे हैं। जिसके बाद कोर्ट ने दोनों को पूछताछ के लिए तीन दिन की ED रिमांड पर भेज दिया।
संजीव लाल और जहांगीर की रिमांड अवधी बढ़ाने के लिए ED ने कोर्ट में रिमांड पिटीशन दी। इस पिटीशन में ED ने बताया कि अब तक की जांच और गिरफ्तार आरोपियों से पूछताछ में यह सामने आया है कि ग्रामीण विकास विभाग के ठेकों में कमीशनखोरी का पैसा वरीय अधिकारियों और इंजीनियरों के पास भी पहुंचता था। साथ ही यह बताया है कि विभागीय इंजीनियरों और संजीव लाल से पूछताछ में बड़े नाम सामने आए हैं। ED सूत्रों के मुताबिक, अब तक छह से अधिक इंजीनियरों से भी पूछताछ हो चुकी है। किन इंजीनियरों से पूछताछ की गई है, यह नाम अभी सामने नहीं आया है।
आलमगीर आलम की गिरफ्तारी के बाद रिमांड में लेने के बाद ED ने पूछताछ और जांच शुरू किया है। ED की टीम सचिवालय भी गई और वहां संजीव लाल के चेंबर की जांच कर चुकी है। वहां से कई डॉक्यूमेंट भी लेकर आई है। जानकारी के मुताबिक, अभी ED जिन बातों पर फोकस कर रही है, वह टेंडर और कमीशन है। सूत्रों की मानें तो साल 2020 से अब तक जितने टेंडर हुए हैं, उन सबकी जांच ED कर रही है।
6 और 7 मई को ED ने मंत्री आलमगीर आलम के पीएस संजीव लाल सहित उनके कई करीबियों के यहां लगातार छापेमारी की। गिरफ्तारी भी हुई। चूंकि छापेमारी के तार ग्रामीण विकास विभाग से जुड़े थे तो विभागीय मंत्री आलमगीर आलम को पूछताछ के लिए 14 मई को बुलाया गया।
14 मई और 15 मई दोनों दिन पूछताछ की गई। जिसके बाद 15 मई को उन्हें गिरफ्तार कर लिया गया। 16 मई को उन्हें पीएमएलए कोर्ट में पेश किया गया, जहां से छह दिनों की रिमांड पर ED को सौंपा गया।