रांची: हाई कोर्ट में दायर जनहित याचिका पर सुनवाई करते हुए कोर्ट ने सरकार की फटकार लगाई। इस दौरान माननीय ने साहिबगंज में अब तक पाइपलाइन से जलापूर्ति नहीं किए जाने पर कड़ी नाराजगी जताई। कोर्ट ने मौखिक कहा कि पानी लोगों की मुख्य जरूरत होती है, राज्य सरकार साहिबगंज के लोगों को क्यों प्यासा रखना चाहती है। बता दें राज्य सरकार की ओर से इस बारे में कहा गया कि यह कार्य इसलिए रूका हुआ है क्योंकि साहिबगंज में पेयजल के लिए पाइपलाइन लाइन बिछाने हेतु रेलवे से एनओसी लेना था। इसके एवज में रेलवे को पैसे की भुगतान करने की प्रक्रिया जारी है।
वहीं इस जवाब से कोर्ट ने कहा कि वर्ष 2017 में ही रेलवे से एनओसी मांगी गई थी इसके बाद 7 साल तक सरकार की ओर से कोई आगे पहल नहीं की गई। इसके बाद कोर्ट ने मामले को लेकर सोमवार को पेयजल एवं स्वच्छता विभाग के प्रधान सचिव को कोर्ट में सशरीर उपस्थित होने का निर्देश दिया है। बताते चलें कि इस मामले को लेकर प्रार्थी की ओर से वरीय अधिवक्ता राजीव शर्मा ने कोर्ट को बताया कि साहिबगंज में पाइपलाइन जलापूर्ति योजना वर्ष 2012 से चल रही है। पूर्व में भी जनहित याचिका दायर की गयी थी, जो आदेश के साथ वर्ष 2016 में निष्पादित हो गयी थी। लेकिन इसके बावजूद जब पाइपलाइन जलापूर्ति शुरू नहीं हुई, तो प्रार्थी ने दोबारा जनहित याचिका दायर की है। बता दें कि साहिबगंज में पाइपलाइन जलापूर्ति योजना को शीघ्र चालू करने की मांग को लेकर सिद्धेश्वर मंडल ने जनहित याचिका दायर कर पाइपलाइन जलापूर्ति योजना को शीघ्र चालू करने की मांग की है।