पटना में लगातार बढ़ रही अपराध की घटनाओं को रोकने के लिए प्रशासन हर रोज नयी-नयी कोशिशे कर रही है। लगातार नये दिशा – निर्दश जारी किए जा रहे है। इसी कड़ी में एसएसपी ने नये दिशा-निर्देश जारी किए है। हर महीने थाना क्षेत्र में होने वाली पहली हत्या, लूट, डकैती व अन्य गंभीर कांडों के आइओ थानेदार बनेंगे। साथ ही मामलों की गंभीरता से जांच कर अपराधियों को पकड़ कर जल्द से जल्द चार्जशीट सौंपी जाएगी।
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हर थाने में होंगे दो-दो थानेदार
पिछले दिनों ही बिहार पुलिस की तरफ से यह तय किया गया था कि अब हर थाने में दो-दो थानेदार होंगे। और ये लोग रोटेशन पर भी काम करेंगे। इसके अलावा थानेदारों को अपने-अपने क्षेत्र के ऐसे अपराधियों की सूची भी बनाने को कहा गया है जो अंतर जिला अपराधी हैं। ऐसे अपराधी अगर पटना के बाहर भी अपराध करते हैं, तो संबंधित थानेदार को जवाब तलब किया जायेगा। इसके साथ ही सरकारी और निजी बैकों की सुरक्षा को लेकर भी कई दिशा-निर्देश भी दिये गये हैं।
महीने में दो बार बैंकों में लगे सुरक्षा उपकरणों की होगी जांच
इसके साथ ही थानेदारों को निर्देश दिया गया है कि वे महीने में दो बार बैंकों में लगे सुरक्षा उपकरणों या संसाधनों की जांच करेंगे। वैसे अपराधी जो प्रतिवेदन-2 निकलने के बाद भी फरार चल रहे हैं, उसकी लिस्ट तैयार की जा रही है। सभी सिटी एसपी को निर्देश दिया गया है कि दो सालों के भीतर हुए वैसे कांड, जिनका उद्भेदन नहीं हुआ है, उनकी सूची बनाकर फरार चल रहे आरोपितों को गिरफ्तार करें। ऐसे आरोपितों के विरुद्ध हर हफ्ते विशेष छापेमारी अभियान चलेगा, जिसका नेतृत्व संबंधित एएसपी और एसपी करेंगे।
अपराधी से मिलने आए लोगों पर रखी जाएगी नजर
अब जेल में मिलने वाले मुलाकातियों पर भी थानेदारों की विशेष नजर रहेगी। एसएसपी राजीव मिश्रा ने सख्त आदेश जारी करते हुए कहा कि थानेदार अपराधी को गिरफ्तार कर जेल भेज देते हैं। वह कब जेल से बाहर आया या फिर उससे कौन-कौन मिलने आया, उसका भी सत्यापन किया जाएगा।अगर जेल से निकलने के बाद दोबारा उसी अपराधी ने कोई कांड किया, तो उसकी जवाबदेही थानेदार की होगी। थानेदार जिन्हें जेल भेजेंगे, उससे मिलने कौन-कौन जेल पहुंच रहा है। इसकी सूची जेल अधिकारियों को देनी होगी।