झारखंड में माओवादियों की कमर टूट गई है। लगातार नक्सलियों के खात्मे को लेकर अभियान चलाया जा रहा है।इस अभियान में सुरक्षा बालो को लगातार कामयाबी मिल रही है।नक्सलियों के खात्मे को लेकर सुरक्षाबलों की कार्रवाई जारी है। इस कार्रवाई के डर से माओवादी पुलिस के समक्ष अपने हथियार डाल रहे है। नए वर्ष की बात करें तो अब तक 9 नक्सलियों आत्मसमर्पण कर दिया है। रांची जोनल आईजी कार्यालय में आज 15 लाख का इनामी रिजनल कमांडर मिथिलेश महतो ने आत्मसमर्पण कर दिया है।
लगातार नक्सलियों के खात्मे का चल रहा है अभियान
इस दौरान प्रेस को संबोधित करते हुए अभियान आईजी AV होमकर ने कहा कि आज का दिन अहम है। सुरक्षा बलों के द्वारा लगातार नक्सलियों के खात्मे का अभियान चल रहा है। इस अभियान में सुरक्षाबलों ने नक्सलियों के खात्मे के करीब है। चाहे वह बूढ़ा पहाड़ हो या पारासनाथ सभी जगहों पर अब माओवादी खत्म होने के कागार पर है। सुरक्षाबलों की बढ़ती दबिश और सरकार की आत्मसमर्पण नीति दोनों का फायदा मिल रहा है। हम नक्सलियों के घर तक जा कर उन्हें उनकी ही भाषा में समझा रहे है। झारखंड आने वाले दिनों में अब नक्सलियों का खात्मा हो जाएगा।
इसे भी पढ़ें: Ranchi: हाईकोर्ट में हाजिर नहीं हुए परिवहन सचिव, राज्य सरकार को लगाई फटकार, 17 फरवरी को मुख्य सचिव को किया तलब
कई बड़े नक्सली घटना को दिया था अंजाम
मिथलेश उर्फ दुर्योधन एक माओवादी संगठन में बड़ा नाम है। मिथलेश सरकार के नीति से प्रभावित होकर मुख्य धारा में लौटे है।मिथलेश पारासनाथ और झुमरा पहाड़ इलाके में सक्रिय था, रिजनल कमांडर रहते हुए इसने कई बड़े नक्सली घटना को अंजाम दिया था। इसपर झारखंड में एक सौ से अधिक मामले में दर्ज है। होमकर ने कहा कि पारासनाथ क्षेत्र में सभी बड़े नक्सलिय या तो गिरफ्तार कर लिए गए या आत्मसमर्पण कर दिया। आज भी मिथलेश के आत्मसमर्पण से संगठन को बड़ी चोट पहुंची है।