[Team insider] यूक्रेन में फंसे झारखंड के लोगों के लिए राज्य सरकार लगातार प्रयासरत है। राज्य सरकार ने परिजनों को हरसंभव का भरोसा भी दिलाया है। वहीं मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने रविवार को देश के गृहमंत्री अमित शाह को इसे लेकर एक पत्र भी लिखकर यूक्रेन में फंसे झारखंड के सभी लोगों की सुरक्षित वापसी सुनिश्चित करने के लिए तत्काल आवश्यक कदम उठाने का अनुरोध किया। हम सभी की सुरक्षित वापसी सुनिश्चित करने के लिए प्रतिबद्ध हैं। यूक्रेन में संकट की इस घड़ी में, हमारी संवेदनाएं अपने भाइयों और बहनों के साथ हैं।
अधिकांश शहरों में रूसी सैनिकों द्वारा बमबारी की जा रही है
मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने चिट्ठी में लिखा है कि बीते काफी दिनों से रूस और यूक्रेन के बीच तनाव है। तनाव अब युद्ध में तब्दील होता दिख रहा है। रूसी सैनिकों ने यूक्रेन की राजधानी कीव सहित सभी प्रमुख शहरों में दस्तक दी है। रूसी सैनिकों की बड़ी संख्या यूक्रेन की सीमा के चारों तरफ मौजूद है। कीव सहित अधिकांश शहरों में रूसी सैनिकों द्वारा बमबारी की जा रही है। वहां से युद्ध की भयावह तस्वीरें सामने आ रही है। अपार्टमेंट से लेकर सड़क तक सब बर्बाद हो चुके हैं।
मेट्रो लाइन के लिए बने बंकर्स में रह रहे हैं लोग
चिट्ठी में मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने लिखा है कि यूक्रेन में इस वक्त तकरीबन 20 हजार भारतीय नागरिक फंसे हैं। इनमें से 18 हजार छात्र हैं। इनमें एक बड़ी संख्या झारखंडी छात्रों की है। जिस तरह की तस्वीरें और खबरें सामने आ रही है, यूक्रेन में फंसे झारखंड के छात्रों के अभिभावक मुख्यमंत्री सचिवालय में संपर्क करके पूछ रहे हैं कि उनके बच्चों के लिए क्या किया जा रहा है। छात्र मुश्किल में हैं। सीमित संसाधनों के बीच वो सब मेट्रो लाइन के लिए बने बंकर्स में रह रहे हैं। सीएम ने गृहमंत्री से कहा कि हमें वहां पहुंचना चाहिये और हरसंभव उनके रेस्क्यू के लिए काम करना चाहिये।
जिलावार प्रभावितों की जारी की गई थी सूची
इससे पहले राज्य सरकार द्वारा कंट्रोल रूम में छह नंबर और व्हाट्सएप के पांच नंबर भी जारी किया गया था। वहीं शनिवार को भी स्टेट माइग्रेन कंट्रोल रूम में जिलावार प्रभावितों की सूची जारी की गई थी जिसमें झारखंड के 86 लोग फंसे हुए हैं। इनमें से 62 पुरुष और 24 महिलाएं शामिल है। इनमें सबसे ज्यादा रांची और फिर हजारीबाग और पश्चिम सिंहभूम के लोग हैं।
वहीं इससे पहले मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने कहा कि यूक्रेन में फंसे सभी झारखंडवासी अपने निजी खर्च से वापस आते हैं, तो पूरी राशि को राज्य सरकार Reimburse यानी अदा करेगी। मुख्यमंत्री ने ट्विटर पर इसकी जानकारी साझा की थी।