बिहार के सबसे बड़े दूसरे अस्पताल नालंदा मेडिकल कॉलेज अस्पताल (NMCH) में चूहे द्वारा मरीज के पैर कुतरे जाने पर विपक्ष द्वारा उठाए जा रहे सवाल पर बिहार सरकार के स्वास्थ्य मंत्री मंगल पांडेय ने कहा था कि नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव और उनके बड़े भाई ने स्वास्थ्य मंत्री रहते कोई काम नहीं किया था। मंगल पांडेय ने चुनौती दी थी कि तेजस्वी यादव खुले मंच पर आकर बहस करें और बताएं कि उन्होंने क्या काम किया है।
अब तेजस्वी यादव ने मीडियाकर्मियों से बात करते हुए मंगल पांडेय की चुनौती को स्वीकार कर लिया है। उन्होंने कहा कि ‘बस मंच और माइक की व्यवस्था करें और मुझे एक दिन पहले सूचित करें। मैं आकर बताऊंगा कि वास्तव में कितना कम काम हुआ है। स्वास्थ्य मंत्री अपने महकमे से पूरी तरह कटे हुए हैं।’ तेजस्वी यादव ने कहा, ‘वह कभी अस्पताल नहीं जाते, यहां तक कि औचक निरीक्षण के लिए भी नहीं। जब मैं उपमुख्यमंत्री था, तब हमने मिशन 60 डेज लॉन्च किया था, निरीक्षण किए थे और 700 से अधिक लापरवाह डॉक्टरों के खिलाफ कार्रवाई की थी।’
NMCH में ‘चूहाकांड’ पर बोले मंगल पांडेय.. तेजस्वी यादव के समय तो रूई और सूई तक नहीं थी
तेजस्वी ने मुजफ्फरपुर, मधेपुरा और पूर्णिया के मेडिकल कॉलेजों की खराब स्थिति का हवाला देते हुए कहा कि यह स्वास्थ्य क्षेत्र में शासन की पूर्ण विफलता को दर्शाता है। अस्पताल के बिस्तर माफियाओं द्वारा बेचे जा रहे हैं और बिहार के स्वास्थ्य मंत्री को कुछ नहीं पता। राजद नेता ने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार पर निशाना साधते हुए कहा कि वह बेहोशी की हालत में हैं। उनके अधिकारी कभी-कभी उन्हें पटना में निर्माण स्थलों का निरीक्षण करने के लिए ले जाते हैं, लेकिन इसके अलावा, उन्हें पता ही नहीं है कि क्या हो रहा है, चाहे वह गरीबी हो, बेरोजगारी हो, कानून-व्यवस्था हो या चरमराती स्वास्थ्य व्यवस्था हो।
बता दें कि नालंदा के विकलांग अवधेश प्रसाद को शनिवार को एनएमसीएच में भर्ती कराया गया और उनकी सर्जरी की गई। रविवार की सुबह जब वह अस्पताल के बिस्तर पर सो रहे थे, तब सर्जरी के बाद उनकी उंगलियों को चूहों ने कुतर दिया। चूहे के काटने की घटना ने व्यापक आक्रोश पैदा कर दिया है और बिहार के सरकारी अस्पतालों की नए सिरे से जांच शुरू कर दी गई है।