पटना | बिहार विधान परिषद में बुधवार को आवारा कुत्तों का मुद्दा उठा, लेकिन इसे लेकर हुई चर्चा और विधायकों की चुटीली टिप्पणियों ने सदन में ठहाकों की बौछार कर दी। बहस की शुरुआत तो गंभीरता से हुई, लेकिन कुछ ही पलों में यह मजाक और व्यंग्य से भर गई, जिससे पूरा सदन गूंज उठा।
“अगर दिनेश बाबू को कुत्ता काटेगा, तो वही मर जाएगा” – अध्यक्ष की टिप्पणी से ठहाके
मुजफ्फरपुर में 8,000 से अधिक आवारा कुत्तों की समस्या को लेकर एमएलसी बंशीधर व्रजवासी ने सवाल उठाया। उन्होंने बताया कि ये कुत्ते लोगों को काट रहे हैं, कई को गंभीर रूप से घायल कर चुके हैं और कुछ मामलों में मौत की खबरें भी आई हैं। लेकिन इस मुद्दे पर जब परिषद के अध्यक्ष अवधेश नारायण सिंह ने चुटकी ली, तो सदन में माहौल पूरी तरह बदल गया। उन्होंने कहा कि “अगर दिनेश बाबू (एमएलसी दिनेश सिंह) को कुत्ता काटेगा, तो वही कुत्ता मर जाएगा।” अध्यक्ष की इस टिप्पणी से पूरे सदन में ठहाके गूंज उठे।
“मुजफ्फरपुर के सारे कुत्ते पकड़कर दिनेश सिंह को कटा दो” – विजय चौधरी ने बढ़ाई हलचल
परिषद के अध्यक्ष की मजाकिया टिप्पणी के बाद संसदीय कार्य मंत्री विजय कुमार चौधरी ने भी चुटीला जवाब देते हुए माहौल को और हल्का कर दिया। उन्होंने कहा कि
“अब बंशीधर व्रजवासी जी की जिम्मेदारी है कि वे मुजफ्फरपुर के 8,000 आवारा कुत्तों को पकड़कर दिनेश सिंह के पास ले जाएं और उन्हें कटवा दें।”
गंभीर मुद्दे पर हल्की-फुल्की बहस, लेकिन जवाबों से नाखुश विधायक
हालांकि, मुद्दा मजाक में बदल गया, लेकिन बंशीधर व्रजवासी पूरी गंभीरता से इस विषय को उठा रहे थे। उन्होंने बताया कि उनके बेटे को भी कुत्ते ने काट लिया था, और मुजफ्फरपुर में ‘डॉग कैचर’ वाहन होने के बावजूद प्रशासन कार्रवाई नहीं कर रहा। इसके जवाब में मंत्री जीवेश मिश्रा ने कहा कि “राज्य में आवारा कुत्तों और बेसहारा गायों को पकड़ने के लिए अभियान चलाया जा रहा है, लेकिन अब तक कुत्तों के काटने से किसी की मौत नहीं हुई है।” लेकिन इस जवाब से बंशीधर व्रजवासी संतुष्ट नहीं हुए। उन्होंने मीडिया रिपोर्टों का हवाला देते हुए कहा कि कुत्तों के हमले से कई मौतें हो चुकी हैं।