बिहार विधानसभा चुनाव (Bihar Election 2025) से पहले सियासी समीकरण तेजी से बदल रहे हैं। जहां एक ओर एनडीए और इंडिया गठबंधन अपने पुराने फार्मूलों को लेकर रणनीति बना रहे हैं, वहीं अब तीसरे मोर्चे की नई तस्वीर उभरने लगी है। राजनीतिक गलियारों में यह चर्चा तेज है कि ऑल इंडिया मजलिस-ए-इत्तेहादुल मुस्लिमीन (AIMIM), राष्ट्रीय लोक जनशक्ति पार्टी (RLJP), आज़ाद समाज पार्टी (ASP) और तेजप्रताप यादव की पार्टी जनशक्ति जनता दल (JJD) मिलकर एक नया गठबंधन बनाने की दिशा में बढ़ रहे हैं।
विश्वसनीय सूत्रों के मुताबिक, AIMIM के राष्ट्रीय अध्यक्ष अख्तरूल इमान और RLJP प्रमुख पशुपति कुमार पारस के बीच हाल ही में फोन पर लंबी बातचीत हुई है। इस बातचीत में साझा रणनीति और संभावित गठबंधन की रूपरेखा पर विस्तार से चर्चा की गई। माना जा रहा है कि इस गठबंधन में आज़ाद समाज पार्टी के प्रमुख चंद्रशेखर आज़ाद रावण और तेजप्रताप यादव की पार्टी को जोड़ने की कवायद भी चल रही है।
चिराग पासवान के खाते में जा सकती हैं ये 29 विधानसभा सीटें.. मांझी ने 4 कैंडिडेट्स का किया ऐलान
राजनीतिक सूत्रों का कहना है कि तेजप्रताप यादव से प्रारंभिक बातचीत हो चुकी है और संकेत सकारात्मक हैं। अगर यह वार्ता सफल रहती है, तो बिहार की राजनीति में एक नया तीसरा मोर्चा जन्म ले सकता है — जो समाज के वंचित, पिछड़े और अल्पसंख्यक तबकों को एकजुट करने का प्रयास होगा।
हालांकि किसी भी दल की ओर से आधिकारिक घोषणा नहीं की गई है, लेकिन राजनीतिक गतिविधियों और नेताओं के बीच बढ़ते संपर्क ने सियासी तापमान बढ़ा दिया है। सूत्रों के अनुसार, अगर यह गठबंधन ठोस रूप लेता है, तो बिहार की राजनीति में एनडीए और इंडिया गठबंधन के बीच एक तीसरी शक्ति उभर सकती है — जो चुनावी परिणामों को अप्रत्याशित दिशा में मोड़ सकती है।