पाकिस्तान में इस वक़्त नेताओं के भ्रष्टाचार से अराजकता जैसी स्थिति बन गयी है। एक तरफ कुछ ही समय बाद पकिस्तान में चुनाव होने वाला है, वहीँ चुनाव से पहले इमरान खान और शाह महमूद कुरैशी को बड़ा झटका लगा है। सिफर मामले में दोनों को 10 साल की कैद की सजा हुई है।
मंगलवार, 30 जनवरी को पाकिस्तान की एक अदालत ने पाकिस्तान के पूर्व प्रधानमंत्री और पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ के प्रमुख इमरान खान और पूर्व विदेश मंत्री शाह महमूद कुरेशी को सिफर मामले में 10 साल जेल की सजा सुनाई है। पाकिस्तान की एक विशेष अदालत ने पिछले महीने अदियाला जिला जेल में नए सिरे से सिफर सुनवाई शुरू की थी। इमरान खान और शाह महमूद कुरैशी को इस मामले में 13 दिसंबर को दूसरी बार दोषी ठहराया गया था। पाकिस्तान के पूर्व प्रधान मंत्री इमरान खान और पूर्व विदेश मंत्री शाह महमूद, दोनों वर्तमान में जेल में हैं। दोनों को अक्टूबर में मामले में प्रारंभिक आरोपों का सामना करना पड़ा, लेकिन उन्होंने खुद को दोषी नहीं ठहराया। इस्लामाबाद उच्च न्यायालय ने सरकार की जेल मुकदमे की अधिसूचना को ‘गलत’ घोषित कर दिया, जिसके कारण पूरी कार्यवाही रद्द कर दी गई थी।
दरअसल यह मामला एक राजनयिक दस्तावेज से संबंधित है, जिसमें इमरान खान को पद से हटाने के लिए अमेरिका की ओर से धमकी दी गई थी.बता दें कि यह फैसला 8 फरवरी के आम चुनाव से ठीक एक हफ्ते पहले आया है। बताया जा रहा है कि बचाव पक्ष के वकीलों के अदालती सुनवाई में अनुपस्थित होने के बाद वकील नियुक्त किए गए हैं. वहीं इमरान खान ने मुकदमे की आलोचना की और इसे मजाक करार देते हुए ये आरोप लगाया कि अभियोजन और बचाव दल दोनों सरकार से संबद्ध थे। पीटीआई पार्टी पर सख्त कार्रवाई के बीच पार्टी बिना चुनाव चिन्ह के बिना ही लड़ रही है।