बिहार के भोजपुर जिले में एक नकली दारोगा को पुलिस ने गिरफ्तार किया है। जिले के बिहिया थाने की यह घटना है। फर्जी दारोगा थाने में ही रौब झाड़ रहा था। पुलिस ने उसे वर्दी, बेल्ट, बैच और टोपी समेत गिरफ्तार कर लिया। बिहिया थाना पुलिस की टीम ने इस बड़ी कार्रवाई को अंजाम दिया।फर्जी दारोगा आरा के बिहिया थाने में पहुंचा और रौब दिखाने लगा। वो लोगों को धमका रहा था। तभी पुलिस को शक हुआ। पुलिस ने पूछताछ की तो उसका भंडाफोड़ हो गया। पुलिस ने उसकी वर्दी, बेल्ट, बैच और टोपी बरामद की। पुलिस मामले की जांच कर रही है।
गिरफ्तार फर्जी दारोगा गड़हनी थाना क्षेत्र के मदुरा गांव निवासी अनिल सिंह का पुत्र राकेश कुमार सिंह है। वो करीब डेढ़ वर्षों से रोहतास जिले के काराकाट थाना क्षेत्र के जमुआ गांव में अपना डेरा रखे हुआ था।बताया जा रहा है कि वो करीब डेढ़ वर्षों से फर्जी दारोगा बनकर भोजपुर, रोहतास सहित अन्य जिलों में जाकर अपना धौंस दिखा लोगों को मूर्ख बनाता था। इस मामले पर जगदीशपुर एस डीपीओ ने बताया कि बीते 10 अक्टूबर को वो बिहिया थाने में फर्जी दारोगा बनकर पहुंचा था। थाना पहुंचने पर उसने कहा कि मैं केस के अनुसंधान में आया हूं, मुझे कुछ जानकारी चाहिए। जिसके बाद वहां से कुछ देर बाद निकल गया। तभी बिहिया थाना पुलिस को उस पर शक हुआ। जिसके बाद जांच शुरू की गई।
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जांच में पता चला कि वो एक फर्जी दारोगा है। इसी बीच मंगलवार को पुलिस को सूचना मिली कि वो फर्जी दारोगा बिहिया बाजार में आया हुआ है। जिसके बाद पुलिस फौरन वहां गई और उसे गिरफ्तार कर जेल भेज दिया। जबकि, गिरफ्तार फर्जी दारोगा राकेश कुमार सिंह ने बताया कि जब वो पूर्व में बिहिया थाने में फर्जी दारोगा बनकर आया था। तभी एक महिला दरोगा से उसका संपर्क हुआ था। उसी समय दोनों ने एक-दूसरे का नंबर आदान-प्रदान किया था। इसके बाद दोनों बातचीत भी करने लगे थे और उनमें दोस्ती हो गई थी। फिर जब वो बिहिया बाजार में एक बहुभोज में शामिल होने के लिए आया था। तभी पुलिस पहुंचकर उसे गिरफ्तार कर लिया।
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वहीं, इस मामले में कांड संख्या 403/24 के तहत प्राथमिक की दर्ज कर आगे की कार्रवाई की जा रही है। घटना के संदर्भ में जगदीशपुर के अनुमंडल पुलिस पदाधिकारी राजीव चंद्र सिंह ने बताया कि फर्जी दारोगा थाने में पहुंचकर रौब दिख रहा था, शक के आधार पर कड़ाई से पूछताछ की गई तो उसने अपनी गलती कबूल कर ली। उसके पास से दारोगा की वर्दी समेत कई चीज बरामद की गई। वो लोगों को दारोगा का धौंस दिखाकर गलत काम को अंजाम देता था। उसके परिवार वालों को भी इसकी भनक नहीं थी। उसने अपनी पत्नी से भी झूठ बोला था। इसको लेकर उसको गिरफ्तार कर लिया गया। फिलहाल मेडिकल जांच के बाद फर्जी दरोगा जी को पुलिस ने जेल भेज दिया है और आगे की कार्रवाई में जुट गई है।