रांची: अल्पसंख्यकों को लेकर हेमंत सरकार मेहरबान है। राज्य सरकार द्वारा मुस्लिम समुदाय के लिए वक्फ बोर्ड को पुर्नगठित करने के साथ-साथ हज कमेटी, उर्दू एकेडमी, मदरसा बोर्ड जैसे आयोग और बोर्ड का पुर्नगठन किया जा रहा है। इसके लिए टीम जल्द ही बिहार जाकर वहां के नियमावली का अध्ययन करेगी। इस संबंध में अल्पसंख्यक कल्याण मंत्री हफीजुल हसन के द्वारा प्रस्ताव मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन को भेजा गया है।
यदि इस प्रस्ताव पर मुहर लग जाती है तो इसके लिए राज्य में अलग से हर साल राशि आवंटित होगी। इसके साथ ही मंत्री सचिव को जिम्मेदारी व विभाग का गठन होगा। अल्पसंख्यक कल्याण मंत्री हफीजुल हसन ने कहा कि अल्पसंख्यकों से जुड़े इन सारे मामलों को चुनाव से पहले लागू कर दिये जायेंगे। बताते चलें कि लंबे समय से रिक्त झारखंड राज्य सुन्नी वक्फ बोर्ड और हज कमेटी को हेमंत सरकार ने गठित कर दिया है। इसको लेकर अधिसूचना भी जारी कर दी गई है। झारखंड राज्य सुन्नी वक्फ बोर्ड में राज्यसभा सांसद डॉ सरफराज अहमद, अधिवक्ता एके रशीदी, पूर्व विधायक मो निजामुद्दीन अंसारी, मो फैजी, इबरार अहमद, सैयद तहजीबुल हसन, महबूब आलम, शकील अख्तर, कार्मिक प्रशासनिक सुधार और राजभाषा विभाग के संयुक्त सचिव आसिफ हसन को नामित किया गया है। इसी तरह झारखंड राज्य हज समिति में राज्य सरकार के दो मंत्री, एक राज्यसभा सदस्य सहित 15 सदस्य को शामिल किया गया है। इस संबंध में सरकार की ओर से अधिसूचना जारी कर दी गई है।