बिहार के पूर्व उप मुख्यमंत्री और राजद नेता तेजस्वी यादव ने मंगलवार को एक रैली के दौरान खुद को मुख्यमंत्री पद का उम्मीदवार बता दिया। इसके साथ ही तेजस्वी ने महागठबंधन की अन्य पार्टियों को भी साफ संकेत दे दिया है। तेजस्वी ने लोगों की समस्याओं से निजात दिलाने का दावा करते-करते कह दिया कि ‘जिस दिन आपका बेटा-भाई मुख्यमंत्री’ बनेगा। अब तेजस्वी यादव के इस दावे को लेकर बिहार में राजनीतिक बयानबाजी तेज हो गई है।
बिहार चुनाव से पहले एक और मुसीबत.. तेजस्वी और मुकेश सहनी को कोर्ट में हाजिर होने का आदेश
राजद नेता तेजस्वी यादव के बयान पर एलजेपी-रामविलास नेता अरुण भारती ने कहा कि अगर तेजस्वी जी बिना गठबंधन की सहमति के खुद को मुख्यमंत्री का उम्मीदवार बता रहे हैं तो मैं मानता हूं कि उनके पास विशेष अधिकार हैं और ये उनका विशेष अधिकार तब से है जब से बिहार में आरजेडी की सरकार आई है। चाहे जंगलराज कांड हो, चाहे भ्रष्टाचार का हो इसके बावजूद भी वो आगे बढ़कर कह रहे है कि वो मुख्यमंत्री के उम्मीदवार हैं तो इसके लिए बहुत हिम्मत चाहिए।
चन्द्रगुप्त बनने का सपना देख रहे हैं तेजस्वी यादव.. सीएम फेस को लेकर विजय सिन्हा ने साधा निशाना
अरुण भारती ने सवाल उठाया कि क्या उनके सारे सहयोगी दल कांग्रेस, माले, CPI और CPI-M मानते हैं कि उन्हें मुख्यमंत्री का उम्मीदवार होना चाहिए और वो किस वजह से ऐसा कह रहे हैं? क्या बिहार के युवाओं में किसी को नेता मानने का जो जुनून होना चाहिए क्या उन्हें तेजस्वी यादव में वो चेहरा दिखता है? मैं सिर्फ बिहार की बात नहीं कर रहा हूं, अगर कोई देश के युवाओं का प्रतिनिधित्व कर रहा है तो वो चिराग पासवान जी हैं।