रांची: रविवार को अमित शाह के झारखंड दौरे में एनआरसी और यूसीसी का पुरजोर नारा दिया गया जिसके जवाब में हेमंत सोरेन ने गुमला में अपनी सभा के दौरान कहा कि झारखंड में एनआरसी यूसीसी नहीं चलेगा यहा एसपीटी और सीएनटी और पेसा चलेगा। हेमंत के इस बयान पर बीजेपी नेताओं की दृष्टि टेढ़ी हो गयी है। इसे लेकर रांची से दिल्ली तक मामला गर्म है। बता दें एनआरसी, यूसीसी को लेकर झारखंड के सीएम हेमंत सोरेन द्वारा दिए गए बयान पर वक्फ संशोधन बिल के लिए जेपीसी के अध्यक्ष और बीजेपी नेता जगदंबिका पाल ने कहा, “जब वह (हेमंत सोरेन) सत्ता में रहेंगे तब ना। जिस तरह से झारखंड, असम और बंगाल में कितनी बड़ी संख्या में बांग्लादेशी और रोहिंग्या घुसपैठिए आ गए हैं तो क्यों नहीं एनआरसी, यूसीसी लागू होगा। जगदम्बिका ने कहा कि झारखंड में लोगों की सम्पत्ति सुरक्षा सम्मान सब पर खंतरा मंडरा रहा है ऐसे में एनआर सी लागू करना आवश्यक है। वहीं हेमंत के इस बयान पर केंद्रीय मंत्री अन्नपूर्णा देवी ने कहा, “इसकी (यूसीसी) आवश्यकता भी है और अभी ये उत्तराखंड में लागू भी हुआ है। जिस तरह से हम घुसपैठिए पर बात करते हैं तो निश्चित रूप से आज देश को इसकी आवश्यकता है और आम लोग इसके पक्ष में हैं ताकि लोगों को सुरक्षा और हर तरह से उन्हें इसका लाभ मिल सके। बताते चलें झारखंड चुनाव में जनसभाओ का दौर जारी है औ अब बात बा बतंगड़ भी भरपूर बन रहा। फिलहाल घुसपैठ पर मोर्चा खोलने वाली भाजपा हेमंत के नो एनआरसी के बयान पर पलटवार करती दिख रही है।
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