बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार पर एक बार फिर प्रशांत किशोर ने हमला किया है। प्रशांत किशोर का कहना है कि नीतीश कुमार की फितरत बिहार का बच्चा-बच्चा जान गया है। आज की तारीख में नीतीश कुमार की एक ही प्राथमिकता रहती है कि किसी तरीके से मैं मुख्यमंत्री बना रहूं। ऐसा नहीं है कि इसके लिए आपको राजनीतिक विश्लेषक रहना है। गांव-गांव में लोग आपको समझ रहे हैं। हम तो इतने दिनों से गांव में चल रहे हैं और बच्चा-बच्चा इस बात को समझता है और इन्हीं शब्दों में कहता है।
प्रशांत किशोर ने आगे कहा कि लोग साफ कह रहे हैं कि नीतीश जी को तो बस मुख्यमंत्री बनने से मतलब है। चाहे वो जैसे बने और जो उनके सीएम बनने में सहयोगी हैं वो नीतीश जी के हिसाब से ठीक है, जो सहयोगी नहीं है, उनके शब्दों में उसे कोई ज्ञान नहीं है। क्योंकि बिहार में एक ही ज्ञानी हैं, वो है नीतीश कुमार। ये बात तो हमको मानना पड़ेगा कि उन्हें इतना तो ज्ञान है कि कुर्सी पर कैसे बने रहना है। चाहे जनता का समर्थन हो या न हो, जनता उनको वोट करे या न करे। जनता चाहे वोट कांग्रेस को करे, आरजेडी को करे, भाजपा को करे या निर्दलीय को करे, मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ही बनेंगे। ये उन्होंने तय कर लिया है। इतना उनको ज्ञान भी है समझ भी है, इस बात का वो फायदा उठा रहे हैं।
मंत्री तेज प्रताप यादव पर भी प्रशांत किशोर बिगड़े हैं। उन्होंने कहा कि तेज प्रताप यादव द्वारा पूर्व प्रधानमंत्री स्व. अटल बिहारी वाजपेयी के नाम पर रखे पार्क का नाम बदलने की कोशिश उनकी ओछी मानसिकता को दिखाता है। नाम बदलने के बजाय नया पार्क बनवाएं और फिर नामकरण करें। कोई भी आदमी चाहे वो कांग्रेस के हों, भाजपा के हों या समाज के हों, जिसने राष्ट्र के लिए कुछ किया हो उनके नाम पर सड़क का नाम हो, पार्क का नाम हो, उसे बदलना अच्छी बात नहीं है। किसी और के नाम से बनाना है, तो नया पार्क बना दीजिए। लेकिन, किसी के नामकरण को हटाना आपकी ओछी मानसिकता को दिखाता है। लेकिन, नीतीश कुमार इस पर सवाल नहीं उठाएंगे, क्योंकि ये उनका राजद दरवाजा है आज की तारीख में।