लगातार जनप्रतिनिधियों की हो रही हत्या को लेकर कानून व्यवस्था पर सवाल खड़े हो रहे हैं। वहीं, पंचायत प्रतिनिधियों में सरकार के खिलाफ आक्रोश बढ़ रहा है। इसी बीच वन, पर्यावरण मंत्री नीरज कुमार बबलू ने कानून में बदलाव की मांग की है। नीरज ने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार और पंचायती राज मंत्री सम्राट चौधरी से जनप्रतिनिधियों के हत्या मामले में कानून में संशोधन की मांग की है।
जनप्रतिनिधि की मौत के बाद उसके नॉमिनी को मिले पद
बता दें शुक्रवार को खजुरी पंचायत के मुखीया रंजीत साह की हत्या कर दी गई थी। मृतक रंजीत के परिवार से रविवार को मंत्री नीरज कुमार बबलू मिले। कहा कि जिस तरह से जनप्रतिनिधियों की हत्या हो रही है, ये सोचनीय विषय है। आठवीं हत्या हो चुकी है। ऐसे में जनप्रतिनिधियों की हत्या को रोकने के लिए कानून में संसोधन की जरूरत है। कहा कि जिस समय जनप्रतिनिधि नामांकन फॉर्म भरते हैं, उस समय नामांकन फॉर्म में संशोधन कर जो जनप्रतिनिधि चुनाव जीतेंगे, उनकी हत्या के बाद उनके परिवार के लोग उस पद पर काबिज हो जाएंगे, ऐसे में हत्या करवाने वाले लोग भी समझ जाएंगे की हत्या करवाने से कोई फायदा नहीं है तो हत्या होनी बंद हो जाएगी। जो नॉमिनी होंगे नामांकन के दौरान वो पांच साल तक उस पद पर कार्यरत होंगे।